पाक पीएम इमरान ने भारत से मांगा था सबूत, जांच एजेंसियों ने जुटायी जानकारी, पाक का झूठ फिर उजागर
पुलवामा हमले के तार पाकिस्तान के रावलपिंडी शहर से जुड़ते दिख रहे हैं. एनआइए और जम्मू-कश्मीर पुलिस को कुछ ऐसे इनपुट मिले हैं, जिसके अनुसार पुलवामा हमले के दिन हमलावरों को रावलपिंडी से फोन के जरिये निर्देश मिल रहे थे. खुफिया एजेंसियों के अनुसार, आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्म्द का सरगना मसूद अजहर ने पुलवामा हमले की प्लानिंग की थी और वह रावलपिंडी के एक अस्पताल से आतंकियों को लगातार निर्देश दे रहा था. खुफिया एजेंसियों के मुताबिक, मसूद अजहर अजहर इलाज के नाम पर बेहद सख्त सुरक्षा में रावलपिंडी के आर्मी अस्पताल में एक कमरे में कैद हो गया है.
उसके आसपास पाकिस्तानी सेना के जवानों को पहरा है और उन्हीं की सरपरस्ती में वह अस्पताल से ही भारत के खिलाफ आतंकी साजिशों को अंजाम दे रहा है.
रिपोर्ट के मुताबिक, इसी अस्पताल से मसूद ने पुलवामा में सुरक्षाबलों के काफिले पर आत्मघाती हमला करने का आदेश दिया था. हमले वाले दिन, वह फोन पर पलपल की जानकारी ले रहा था. हमले से करीब आठ दिन पहले जैश सरगना ने ऑडियो टेप जारी किया था.
इसमें उसने कहा था कि इस लड़ाई में मौत से ज्यादा अच्छा कुछ नहीं है. कोई इन्हें दहशतगर्द कहेगा, कोई निकम्मा, कोई पागल तो कोई इन्हें अमन के लिए खतरा कहेगा. सुरक्षा एजेंसियों की इन रिपोर्टों से पाकिस्तान का झूठ एकबार फिर उजागर हुआ है कि इस घटना में उसका कोई हाथ नहीं है.
वैन की सभी जानकारी कर दी गयी थी नष्ट
सुरक्षा एजेंसियों के मुताबिक, हमले में इको वैन का इस्तेमाल किया गया था. यह वैन सीमापार से भारत लायी गयी थी. भारत लाने के बाद इसका चेसिस नंबर, नंबर प्लेट और पहचान की अन्य चीजें क्षतिग्रस्त कर दी गयी थी.
इस लाल रंग की वैन में ही विस्फोटक रखकर सीआरपीएफ के काफिले पर हमला कराया गया था. इधर, बढ़ते अंतरराष्ट्रीय दबाव से पाक आर्मी ने मसूद अजहर और हाफिज सईद को लो प्रोफाइल में रहने और सार्वजनिक तौर पर अपनी उपस्थिति कम करने को कहा है. एजेंसियों के मुताबिक, पुलवामा में इस्तेमाल विस्फोटक को रावलपिंडी में पाक सेना ने ही जैश के आतंकियों को सौंपा था. ये आतंकवादी घुसपैठ कर विस्फोटक को अपने बैकपैक्स में लेकर आये थे. हमले वाले दिन काफी बारिश होने के कारण नष्ट हुए सबूत जुटाने का जिम्मा फॉरेंसिंक टीम को सौंपा गया है.
मसूद ने प्लान को रखा था सीक्रेट, जिहाद काउंसिल को भी नहीं थी जानकारी
पाक पीएम इमरान के भारत से सबूत मिलने पर कार्रवाई करने की बात कहने के बाद भारत ने पाक को जवाब देने की पूरी तैयारी कर ली है. एक नयी रणनीति बनायी गयी है. रणनीति के अनुसार, भारत अब पाकिस्तान को सबूत नहीं सौंपेगा, बल्कि अंतरराष्ट्रीय मंच पर इस सबूत को पेश कर पाक को बेनकाब करेगा. अपनी इस योजना के तहत एनआइए और जम्मू-कश्मीर पुलिस ने काम करना शुरू भी कर दिया है. सुरक्षा एजेंसियों ने कई जानकारियां भी जुटा ली है.
सरकार का मानना है कि पहले पाक उन सभी मामलों पर कार्यवाही करे जिनके सबूत भारत ने पाकिस्तान से साझा किये हुए है. रिपोर्ट के मुताबिक, आतंकी मसूद ने पुलवामा इमले के प्लान को गुप्त रखा था और जिहाद काउंसिल को भी इस बारे में नहीं बताया.
नयी दिल्ली. इमरान खान के अपने ही लोग अब पाक की हकीकत बयां करने लगे हैं. आतंकियों की शरणस्थली बन चुका पाक पूरी दुनिया में बदनाम हो चुका है. हालांकि, पाक के हुक्मरान इससे इनकार कर रहे हैं, पर पूर्व राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी ने सच्चाई कबूल कर ली है.
बुधवार को जरदारी ने इमरान सरकार से सवालिया लहजे में कहा कि क्या आपको दुनिया में देश का एक भी अंतरराष्ट्रीय दोस्त दिखाई देता है. पत्रकारों ने उनसे भारत से संबंध व युद्ध के हालात पर भी सवाल पूछे थे. जरदारी ने कहा कि अगर आपको यह दिखाई नहीं देता है, तो मैं दिखा देता हूं. हमारे इतने राजदूत और लोग दुनियाभर में हैं, पर आप अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपना एक दोस्त बता दीजिए? कुछ हमारे बैकसीट ड्राइवर्स ने अपने पब्लिक रिलेशंस से आपको सपोर्ट मुहैया करा दी है, वह भी कुछ मुस्लिम देशों से लेकिन वह अंतरराष्ट्रीय सपोर्ट नहीं है.
पाक रेल मंत्री ने पीएम मोदी पर की अभद्र टिप्पणी
प्रधानमंत्री मोदी को अनपढ़ और इमरान खान को पढ़ा-लिखा बताया
पाक पीएम इमरान की गीदड़भभकी के बाद पाक के रेल मंत्री शेख रशीद ने प्रधानमंत्री मोदी पर अभद्र टिप्पणी की है. शेख रशीद ने अपने ट्विटर पर एक वीडियो संदेश डाला है. इसमें वह कह रहा है, मोदी सरकार ने पिछला इलेक्शन मुसलमानों और पाकिस्तान के खिलाफ बयान देकर जीता है. अब पांच राज्यों में चुनाव हारने के बाद उन्होंने एक बार फिर फौज को ग्रीन सिग्नल दिया है, जो जंग की खुली धमकी है.
मोदी सरकार के मुकाबले में इमरान खान ने जांच की पेशकश की है, जो एक पढ़ी-लिखी और अनपढ़ की सोच में फर्क बयान करती है. रशीद ने कहा कि हम आतंकवाद के खिलाफ हैं, आतंकवाद किसी मुद्दे का हल नहीं है. कश्मीर के आजादी को लेकर संघर्ष को आतंकवाद करार नहीं दिया जा सकता. पाकिस्तान अपने कश्मीरी भाइयों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ा है.
बदले नियम : सैनिकों के काफिले के करीब आने वाले समझे जायेंगे दुश्मन
जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में सुरक्षाबलों के काफिले पर हुए आत्मघाती हमले के बाद सुरक्षाबलों के मूवमेंट को लेकर नया एसओपी तैयार किया गया है. नये नियम इस प्रकार हैं-
1. बिना रुके मूवमेंट
2. काफिले के मूवमेंट के दौरान सिविलियन गाड़ियों पर रोक
3. काफिले की गाड़ियों पर लाल झंडे होंगे, ताकि कोई लाइन क्रॉस न करे
4. लाल झंडा क्रॉस करने वाली गाड़ी को शत्रु माना जायेगा
5. मूवमेंट के दौरान 15-20 मिनट के लिए उसी जगह पर ट्रैफिक ब्लॉक किया जायेगा जहां से काफिला
गुजर रहा है
6. सीआरपीएफ रोड ओपनिंग पार्टी बनाने का काम जारी रखेगी
7. आर्मी हाइवे डॉमिनेशन टीमें सेना के काफिले को आगे, बीच में और पीछे से सुरक्षा देंगी
8. नया नियम तोड़ने वाली व ओवरटेक का प्रयास करने वाली किसी भी गाड़ी को शत्रु समझा जायेगा
भारत की नयी रणनीति, अब पाक को नहीं सौंपेगा सबूत, अंतरराष्ट्रीय मंच पर पेश कर पाक को करेगा बेनकाब
बारिश की वजह से नष्ट हुए सबूत फॉरेंसिक टीम जुटा रही साक्ष्य
पुलवामा हमले के दौरान बारिश होने की वजह से कई साक्ष्य मिट गये हैं. एक विशेषज्ञ ने बताया कि फाइनल रिपोर्ट आने में कुछ समय लग सकता है. लेकिन ऐसा लग रहा है कि इसे तैयार करने के लिए एक से ज्यादा प्रशिक्षित बम बनाने वाले भारत आये थे और इसमें ट्रिगर स्विच, डेटोनेटर व पावर फ्यूज हमले से कुछ वक्त पहले ही लगाया गया था.
आतंकियों को विस्फोटक पाक डिफेंस फोर्सेज से मिला था
आतंकियों ने हमले के लिए तीव्र क्षमतावाला मिलिटरी ग्रेड विस्फोटक का इस्तेमाल किया था. यह विस्फोटक आतंकियों को पाक डिफेंस फोर्सेज के जरिये मिला था. फॉरेंसिक एक्सपर्ट्स के मुताबिक, कार बम के तौर पर वैन का इस्तेमाल करने के लिए इसे महीनों पहले भारत लाया गया था. इसके बाद इसे निश्चित तौर पर हमले वाली जगह से पांच-सात किमी की दूरी पर तैयार किया गया था.
जम्मू : जम्मू-कश्मीर की पूर्व सीएम महबूबा मुफ्ती ने एक बार फिर से कहा है कि पाक को एक और मौका देना चाहिए. महबूबा ने कहा कि यह बात सही है कि पठानकोट से लेकर मुंबई हमले तक के सबूत पाक को दिये गये थे, लेकिन पाक ने कोई कार्रवाई नहीं की. इमरान नये पीएम हैं और उन्हें एक और मौका दिया जाना चाहिए. महबूबा ने कहा कि इस समय सिर्फ अनपढ़ लोग ही युद्ध की बात कर सकते हैं.
एनआइए ने दोबारा दर्ज किया केस सीएफएसएल के साथ कर रही जांच
तनाव से यूएन चिंतित कहा- तत्काल उठायें कदम
न्यूयॉर्क : संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस ने भारत और पाकिस्तान से अपील की है कि वे पुलवामा हमले के बाद बढ़े तनाव को कम करने के लिए तत्काल कदम उठायें. संयुक्त राष्ट्र महासचिव के प्रवक्ता स्टीफन दुजारिक ने कहा कि महासचिव ने दोनों पक्षों के अत्यधिक संयम बरतने और तनाव कम करने के लिए तत्काल कदम उठाने की आवश्यकता पर बल दिया. यदि दोनों पक्ष राजी होते हैं तो वह मध्यस्थता के लिए हमेशा तैयार हैं.
यूएन में मसूद के खिलाफ 40 देश भारत के साथ, लेकिन चीन लगा सकता है अड़ंगा
पेरिस. पुलवामा हमले पर भारत को दुनिया भर के देशों से समर्थन मिल रहा है. फ्रांस यूएन में मसूद अजहर को अंतरराष्ट्रीय आतंकी घोषित करने के लिए प्रस्ताव लेकर आने वाला है. इस बीच कई बड़े देश इस प्रस्ताव को एक मत से पारित करने के लिए सहमति दे रहे हैं. पिछले 10 वर्षों में यूएन में यह चौथा मौका है, जब इस तरह का प्रस्ताव पेश किया जा रहा है. इस बार भी सभी की नजरें चीन पर हैं, जो हर बार प्रस्ताव पर वीटो लगाकर मसूद अजहर और जैश पर प्रतिबंध लगाने से रोक देता है.
रूस
रूसी मंत्री डेनिस मंटुरोव से पूछा गया कि क्या सुरक्षा परिषद में मसूद अजहर को वैश्विक आतंकवादी घोषित करने का प्रस्ताव आता है, तो रूस इस मामले में भारत का समर्थन करेगा. इस पर उन्होंने कहा- निश्चित रूप से.
ब्रिटेन
भारत में ब्रिटिश उच्चायुक्त डोमिनिक एसक्विथ ने कहा- ब्रिटेन और भारत दोनों ही देश आतंकवादी हमलों से पीड़ित हैं. कश्मीर में पिछले हफ्ते जो कुछ हुआ है, वह कुछ ऐसा है जिस पर हमें खेद है.
यूएइ
सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने कहा कि चरमपंथ और आतंकवाद हमारी सामान्य चिंताएं हैं. हम अपने मित्र भारत को बताना चाहते हैं कि हम सभी मोर्चों पर सहयोग करेंगे.
न्यूजीलैंड
बुधवार को आतंक के खिलाफ भारत को न्यूजीलैंड का समर्थन मिला. न्यूजीलैंड की संसद ने पुलवामा हमले के खिलाफ भारत के समर्थन में प्रस्ताव पारित किया है.
इस्राइल
इस्राइल ने कहा कि वह जांच में सहयोग के लिए तैयार है और उसने बिना शर्त भारत को हर तरह की मदद देने की पेशकश भी की है.