सेना ने पाकिस्तानी झूठ को किया बेनकाब, कहा-देश की सुरक्षा के लिए हम हैं तैयार, देखें Video

नयी दिल्ली : भारतीय सेना ने गुरुवार को पाकिस्तान के इस झूठ को बेनकाब कर दिया कि उसके बमों से भारत के रक्षा प्रतिष्ठानों को किसी प्रकार का नुकसान हुआ है. सेना के तीनों अंगों (वायु सेना, थल सेना और नौसेना) की ओर से आयोजित साझा प्रेसवार्ता के दौरान एयर वाइस मार्शल आरजीके कपूर ने […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 28, 2019 8:01 PM

नयी दिल्ली : भारतीय सेना ने गुरुवार को पाकिस्तान के इस झूठ को बेनकाब कर दिया कि उसके बमों से भारत के रक्षा प्रतिष्ठानों को किसी प्रकार का नुकसान हुआ है. सेना के तीनों अंगों (वायु सेना, थल सेना और नौसेना) की ओर से आयोजित साझा प्रेसवार्ता के दौरान एयर वाइस मार्शल आरजीके कपूर ने कहा कि पाकिस्तानी वायुसेना के बमों से हमारे किसी भी रक्षा प्रतिष्ठान को कोई नुकसान नहीं पहुंचा है. उन्होंने कहा कि हालांकि, पाकिस्तान के विमान की ओर से सैन्य प्रतिष्ठानों को निशाना बनाने का प्रयास जरूर किया गया.

एयर वाइस मार्शल कपूर ने विंग कमांडर अभिनंदन को रिहा किये जाने को लेकर कहा कि भारतीय वायुसेना इस बात को लेकर काफी खुश है कि विंग कमांडर अभिनंदन को रिहा किया जायेगा और हम शुक्रवार को उनके वापस आने का इंतजार कर रहे हैं. इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि पाकिस्तान इस बात को लेकर झूठ बोला कि उसकी ओर से एफ-16 का इस्तेमाल नहीं किया गया, जबकि हमारे पास इस बात के पर्याप्त प्रमाण मौजूद है. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान के बम सैन्य प्रतिष्ठान के परिसर में गिरे तो जरूर, लेकिन वे लक्ष्यों को निशाना बनाने में विफल रहे.

कपूर ने कहा कि 27 फरवरी को पाकिस्तान के बहुत सारे विमान भारतीय सीमा में प्रवेश कर रहे थे. आईएएफ फाइटर, सुखोई और मिराज के फाइटर ने उन्हें खदेड़ दिया. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान के विमानों ने भारत के सैन्य प्रतिष्ठानों पर निशाना साधा और बम गिराये, जिसमें वे सफल नहीं हो पाये. उन्होंने कहा कि पाकिस्तानी विमानों को खदड़ने के दौरान हमारे दो पायलट पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर में गये.

पाकिस्तान ने कई झूठे बयान दिये हैं. कई बार उन्होंने बयान बदले. पाकिस्तान ने कहा कि उन्होंने सैन्य प्रतिष्ठानों पर निशाना साधा. पाकिस्तान यह कह रहा है कि एफ 16 विमान का इस्तेमाल नहीं हुआ, लेकिन भारतीय सीमा पर एफ 16 से हमला करने वाले हथियार बरामद हुए हैं.

सेना ने कहा कि यंत्रीकृत बल को तैयार रखा गया है और सैनिक किसी भी सुरक्षा चुनौती से निपटने के लिए तैयार है. थल सेना के मेजर जनरल एसएस महाल ने कहा कि तनाव पाकिस्तान की ओर से बढ़ाया गया है. दुश्मन यदि उकसाता है, तो भारत किसी भी स्थिति से निपटने के लिए तैयार है. महाल ने कहा कि पाकिस्तानी सेना ने सबसे पहले कई क्षेत्रों में युद्धविराम नियमों का उल्लंघन किया. यह 26 फरवरी की सुबह हुआ और शाम तक चलता रहा, जिसका जवाब भारतीय जवानों ने दिया.

उन्होंने कहा कि पाकिस्तानी वायुसेना ने जम्मू-कश्मीर में आर्मी हेड क्वाटर्स पर निशाना बनाया. पाकिस्तानी एयरफोर्स को जरूरी जवाब दिया गया. एयरबसे डिफेंस सिस्टम को हाइअलर्ट पर रखा गया है. प्लेन स्टैंडबॉय पर हैं. हम किसी भी तरह की हरकत का जवाब देने में सक्षम हैं. उधर, भारतीय नौसेना रियर एडमिरल वीएस गुंजाल ने कहा कि भारतीय नौसेना तैनात है. मैं आपको विश्वास दिलाता हूं कि नौसेना तैयार है. आर्मी और एयरफोर्स ने यह विश्वास दिलाया है कि देश सुरक्षित है.

प्रेसवार्ता के दौरान भारत की तरफ से सबूत पेश किये गये है, जिसकी कुछ तस्वीरें भी जारी की गयी है. क्या तनाव बढ़ा है? इस सवाल पर थल सेना प्रमुख ने कहा कि हमारी लड़ाई आतंकियों के खिलाफ है. हम आतंकियों के ठिकाने पर निशाना साधने के लिए तैयार हैं. दो दिनों में 35 सीजफायर का उल्लंघन हुआ है. हम पाकिस्तान को उसी भाषा में जवाब दे रहे हैं. क्या स्थिति है यह बढ़ेगा या कम होगा, पाकिस्तान ने हमारी सेना को निशाना बनाया है? इस सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि हम नजर बनाये हुए हैं.

इस पूरी कार्रवाई के बाद क्या आतंकी आने कम होंगे, यह सवाल तो पाकिस्तान से करना चाहिए. पाकिस्तान भारत के दावे को नकारता रहा है. हम क्या सबूत दे सकते हैं. हमारे पास सबूत हैं. हमें जो करना था, हमने कर दिया. यह सरकार के ऊपर है कि वह सबूत जारी करने या नहीं.

पाकिस्तान का दावा है कि एफ 16 प्लेन नहीं गिराया गया. एफ 16 के मलबे पाये गये हैं. हमारी एयरस्पेस की तरफ से कौन सा प्लेन आ रहा है, इसकी जानकारी हमें मिलती है. अगर आप पाकिस्तान की तरफ से भी मीडिया रिपोर्ट देखें, तो पायेंगे. उन्होंने जो तस्वीरें दिखायी, वह एफ-16 के हैं.

विंग कमांडर अभिनंदन के छोड़े जाने पर भारतीय सेना की तरफ से क्या है, प्रतिक्रिया एयरफोर्स की प्रतिक्रिया की बात करें तो हम खुश हैं. हम उन्हें वापस देखना चाहते हैं. हम इसे शांति के समझौते की तरह नहीं जनेवा कन्वेशन के फैसले के आधार पर देखते हैं.

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