नयी दिल्ली : छत्तीसगढ़ में सभी 10 लोकसभा सीटों पर भाजपा के नये उम्मीदवार नजर आयेंगे. भाजपा ने एक बड़ा निर्णय करते हुए आगामी लोकसभा चुनाव में छत्तीसगढ़ के सभी मौजूदा सांसदों की जगह नये चेहरों को उतारने की घोषणा की है. यह फैसला ऐसे समय में किया गया है जब पिछले साल राज्य विधानसभा चुनाव में पार्टी को बड़ी हार का सामना करना पड़ा था.
भाजपा के महासचिव एवं प्रदेश प्रभारी अनिल जैन ने इसकी घोषणा की। भाजपा की केंद्रीय चुनाव समिति ने आगामी आम चुनाव के लिए यहां उम्मीदवारों को लेकर विचार विमर्श किया. केंद्रीय समिति में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और पार्टी के अन्य शीर्ष नेता शामिल हैं.
जैन ने संवाददाताओं से कहा कि हमने नये उम्मीदवारों और नये उत्साह के साथ चुनाव लड़ने का निर्णय किया है. पार्टी के इस फैसले का मतलब है कि केंद्रीय मंत्री विष्णु देव साई और सात बार के लोकसभा सांसद एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री रमेश बैस को चुनावों में नहीं उतारा जाएगा. भाजपा को पिछले साल विधानसभा चुनाव में करारी हार का सामना करना पड़ा था.
पार्टी अपना खोया हुआ आधार फिर से पाने का प्रयास कर रही है. विधानसभा चुनाव में कांग्रेस ने राज्य में 68 सीटें जीती थी. राज्य में 15 साल शासन कर चुकी भाजपा को 15 सीटों से ही संतोष करना पड़ा था. दोनों दलों की वोट हिस्सेदारी में 10 प्रतिशत का अंतर था. सूत्रों ने बताया कि भाजपा इस पर भी विचार कर रही है कि मौजूदा सांसदों के परिवार के भी किसी सदस्य चुनाव में नहीं उतारा जाए.
पार्टी ने यह मानदंड अपनाया तो पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह की संभावित उम्मीदवारी भी सवालों के घेरे में आ जाएगी, क्योंकि उनके पुत्र अभिषेक सिंह वर्तमान सांसद हैं.