लखनऊ : भारतीय जनता पार्टी ने बसपा सुप्रीमो मायावती पर तंज कसते हुए शुक्रवार को कहा कि पहले चरण के चुनाव ने ही मायावती को हार का आभास करा दिया है. भाजपा के उत्तर प्रदेश महामंत्री विद्यासागर सोनकर ने कहा कि मायावती अपनी हार के कारणों के लिए बहानेबाजी का पूर्वाभ्यास करने लगी हैं. सोनकर ने कहा कि मायावती का तिलस्म टूट चुका है. लम्बे समय तक दलितों के वोटों के दम पर सौदेबाजी करने वाली मायावती को दलितों ने ही बेदम कर दिया है. चुनाव परिणाम आने के बाद अपनी हार पर बोलने के लिए मायावती ने ईवीएम और प्रशासन जैसे शब्दों का प्रयोग अभी से शुरू कर दिया है.
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उन्होंने मायावती के ट्वीट पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि दलित समाज के सामने मायावती बहुत पहले बेनकाब हो चुकी हैं. इसी का परिणाम है कि 2012, 2014, 2017 के बाद अब 2019 में भी एक बार फिर भारी पराजय ने उनकी कुंडी खटका दी है और उस पराजय का द्वार 23 मई को खुल जायेगा. सोनकर ने कहा कि मायावती वोट के दम पर धन्नासेठों को टिकट बेचती रहीं. जब सपा के गुंडे दलितों पर अत्याचार करते थे, तो मायावती कभी उनके लिए उत्तर प्रदेश नहीं आयीं, क्योंकि उनका मानना था कि दलित जितना अधिक प्रताड़ित होगा, बसपा का वोट उतना ही मजबूत होगा.
भाजपा के प्रदेश महामंत्री ने कहा कि अब बाजार में मायावती के टिकटों का भाव गिर गया, तो उन्होंने दलितों का उत्पीड़न करने वालों के साथ ही गठबंधन करके फिर एक बार धन्नासेठों को टिकट बेच दिये. उन्होंने दावा किया कि पहले चरण के चुनाव के बाद अब जबकि पूंजीपतियों और धन्नासेठों को भी अपनी हार स्पष्ट तौर पर दिखने लगी है, तो वह जीत की गांरटी के साथ बेचे गये टिकटों के रुपये वापस मांगने लगे हैं और यही मायावती की अकुलाहट और बेचैनी का कारण है.
सोनकर ने कहा कि देश व प्रदेश का दलित वर्ग मोदी सरकार व योगी सरकार में आर्थिक समृद्धि, सामाजिक विकास, सम्मान और खुशहाली के साथ सबका साथ-सबका विकास के पथ पर आगे बढ़ रहा है. पहले चरण के चुनाव के रूझान से यह स्पष्ट हो चुका है कि दलित, पिछड़ा एवं वंचित वर्ग मजबूती के साथ भाजपा के पक्ष में खड़ा है.
उल्लेखनीय है कि मायावती ने टवीट कर कहा है कि सत्ताधारी भाजपा को इस लोकसभा चुनाव में आम जनता द्वारा बुरी तरह से नकारे जाने का ही परिणाम है कि अब भाजपा वोट से नहीं, बल्कि नोटों से, ईवीएम की धांधली से, पुलिस/प्रशासन तंत्र के दुरुपयोग से और ईवीएम में चुनाव कर्मचारियों से ही बटन दबवाने जैसी धांधलियों से चुनाव जीतना चाहती है.