जाट बहुल सोनीपत सीट पर आरक्षण आंदोलन की छाया, 2016 को भूल नहीं पाये हैं लोग

पार्टियां भी इसे भुनाने में जुटी हैं सोनीपत : हरियाणा के सोनीपत संसदीय सीट के लिए रविवार को मतदान होना है. साल 2016 में हुए हिंसक आरक्षण आंदोलन की प्रतिछाया इस बार के चुनाव पर साफ दिखती है. इसका एहसास पूरे चुनाव प्रचार के दौरान सत्तारूढ़ भाजपा और कांग्रेस के वाकयुद्ध में भी दिखा. मुख्यमंत्री […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | May 12, 2019 7:10 AM
पार्टियां भी इसे भुनाने में जुटी हैं
सोनीपत : हरियाणा के सोनीपत संसदीय सीट के लिए रविवार को मतदान होना है. साल 2016 में हुए हिंसक आरक्षण आंदोलन की प्रतिछाया इस बार के चुनाव पर साफ दिखती है. इसका एहसास पूरे चुनाव प्रचार के दौरान सत्तारूढ़ भाजपा और कांग्रेस के वाकयुद्ध में भी दिखा.
मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने इस जिले में भाजपा प्रत्याशी के समर्थन में आयोजित एक चुनावी सभा में आरोप लगाया कि कांग्रेस नेता के समर्थक फरवरी, 2016 में आंदोलन के समय हरियाणा को जलाने में शामिल थे.
कांग्रेस प्रत्याशी एवं पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने फौरन इसका प्रतिवाद किया. कहा, उस समय हरियाणा तीन बार जला, किंतु वह इसे अपनी असफलता स्वीकार नहीं करेंगे. वह जाट आरक्षण आंदोलन तथा स्वयंभू बाबा रामपाल और राम रहीम सिंह के मामलों का उल्लेख करते रहे. हुड्डा का मुकाबला भाजपा के वर्तमान सांसद रमेश चंद्र कौशिक, जननायक जनता पार्टी के दिग्विजय चौटाला और इनेलो के सुरेंद्र चिक्कारा से है.
खट्टर का दावा, पूरे देश में है मोदी लहर : भाजपा के प्रत्याशी और वर्तमान सांसद रमेश चंद्र कौशिक को छोड़ कर बाकी तीनों बड़े उम्मीदवार (भूपेंद्र सिंह हुड्डा, दिग्विजय चौटाला और सुरेंद्र चिक्कारा) जाट समुदाय से हैं.
इस संसदीय क्षेत्र को जाट अाधिपत्य वाले इलाके के रूप में देखा जाता है. फिर भी 2014 और 1996 में हुए चुनावों में विजयश्री गैर जाट प्रत्याशी के हाथ लगी. मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर का दावा है कि हरियाणा में ही नहीं, संपूर्ण देश में मोदी की लहर है. इसके जवाब में भूपेंद्र सिंह हुड्डा कहते हैं कि अगर उनका दावा असत्य सिद्ध हुआ, तो क्या खट्टर पद से त्यागपत्र देंगे? बहरहाल, हिंसक आरक्षण आंदोलन की छाया यह सीट बाहर नहीं है.
कुल प्रत्याशी : 29
कुल मतदाता1,417,188
महिला मतदाता639,364
पुरुष मतदाता 777,824
2014 का चुनाव परिणाम
रमेश चंदर भाजपा 347,20324%
जसबीर सिंह मलिक कांग्रेस 269,78919%
पदम सिंह इंनेलो 264,40418%
कब कौन कितनी बार जीता
कांग्रेस 03 बार 1984, 1991, 2009
भाजपा 03 बार 1999, 2004, 2014
भालोद 01 बार 1977
जपा (एस ) 01 बार 1980
जद 01 बार 1989
निर्दलीय 01 बार 1996
इंनेलो 01 बार 1998
नोट : यह सीट 1977 में सृजित हुई.

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