बोले पीएम मोदी- झारखंड को मॉब लिंचिंग का अड्डा कहना यहां के लोगों का अपमान

-मोदी ने कहा- हत्या दुखद, पर झारखंड को बदनाम करने का हक किसी को नहींनयी दिल्ली: झारखंड में भीड़ द्वारा एक युवक की हत्या पर अपनी चुप्पी तोड़ते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि इस घटना से उन्हें काफी पीड़ा पहुंची है. दोषियों को कड़ी सजा मिलनी ही चाहिए. इस घटना से वह आहत […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 26, 2019 2:27 PM

-मोदी ने कहा- हत्या दुखद, पर झारखंड को बदनाम करने का हक किसी को नहीं
नयी दिल्ली:
झारखंड में भीड़ द्वारा एक युवक की हत्या पर अपनी चुप्पी तोड़ते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि इस घटना से उन्हें काफी पीड़ा पहुंची है. दोषियों को कड़ी सजा मिलनी ही चाहिए. इस घटना से वह आहत हैं. हालांकि, इस मुद्दे पर पूरे राज्य को बदनाम करने की कोशिश की आलोचना की. मोदी ने कहा कि यह कहना कि झारखंड मॉब लिंचिंग का अड्डा बन गया है, ठीक नहीं है. यह राज्य की जनता का अपमान है. झारखंड में भी सज्जनों की भरमार है. राजनीति करने से हालात नहीं सुधर सकते. सही -गलत में फर्क करना होगा. यह किसी भी राज्य में हो सकता है. वैसे देश का कानून स्थिति से निबटने में सक्षम है. हिंसा की घटनाओं को लेकर सरकार का देशभर में एक ही मापदंड है. हर नागरिक की सुरक्षा की गारंटी हमारी जिम्मेदारी है.

दूसरी तरफ, प्रधानमंत्री मोदी ने बिहार में चमकी बुखार से बच्चों की मौत पर दुख जताया. कहा कि यह हमारी 70 साल की विफलताओं में से एक है. हम इस समस्या का समाधान खोजेंगे. सभी को इसे गंभीरता से लेना होगा. मैं बिहार के मुख्यमंत्री के संपर्क में हूं. मैंने हेल्थ मिनिस्टर को भी वहां भेजा था. पोषण, टीकाकरण, आयुष्मान योजना के जरिये पीड़ितों को बाहर निकालने की कोशिश करेंगे. सिर्फ आरोप-प्रत्यारोप से ऐसे मामलों से नहीं निबटा जा सकता है, बल्कि इसके लिए हम सभी को प्रो एक्टिव होकर काम करना होगा.

राष्ट्रपति के अभिभाषण पर राज्यसभा में धन्यवाद प्रस्ताव पर हुई चर्चा का जवाब देते पीएम मोदी ने विपक्ष से देश की विकास यात्रा में सकारात्मक योगदान देने का आग्रह किया. सरकार के आगामी पांच वर्षों का खाका भी पेश किया. इस दौरान उन्होंने राज्यसभा में विपक्षी दलों द्वारा विधेयकों को लटकाने की कोशिश की आलोचना की. एनआरसी का जिक्र करते हुए कहा कि राजीव गांधी ने ही इसे स्वीकार किया था.

पीएम मोदी ने पानी की समस्या का जिक्र करते हुए कहा कि यह गंभीर विषय है. नीति आयोग ने देश में ऐसे 226 जिलों की पहचान की है, जहां पानी के लिए जद्दोजहद करनी पड़ती है. इस हालात से निबटने के लिए सबको मिलकर काम करना होगा. समाज को जागरूक करना जरूरी होगा.

ओल्ड इंडिया की मांग : न्यू इंडिया से परहेज क्यों ?
प्रधानमंत्री ने कहा कि हैरान हूं कि न्यू इंडिया का विरोध हो रहा है. हमें आगे बढ़ना है, दुनिया के भीतर हमें आगे बढ़ना है, सवा सौ करोड़ का देश है. हम क्यों नहीं सपने देखें. लेकिन, कुछ लोग कहते हैं कि हमें ओल्ड इंडिया चाहिए, ताकि जल-थल-नभ हर जगह घोटाले करें, टुकड़े-टुकड़े गैंग का समर्थन करें, इंस्पेक्टर राज हो, इंटरव्यू चलते रहें, गैस के लिए कतारें लगी हों?

कांग्रेस को नसीहत: हार का ठीकरा मशीन पर न फोड़ें

पीएम ने कांग्रेस व अन्य दलों द्वारा हार का ठीकरा इवीएम पर फोड़ने पर जम कर हमला बोला. गालिब के शेर ‘ताउम्र गालिब यह भूल करता रहा, धूल चेहरे पर थी, आईना साफ करता रहा ‘ के जरिये विपक्ष पर तीखा तंज भी कसा. इवीएम के जरिये गड़बड़ी के आरोपों पर कहा कि एक समय भाजपा भी मात्र दो सांसदों पर पहुंच गयी थी, किंतु हमने कभी इस तरह का रोना-धोना नहीं किया. जब खुद पर भरोसा नहीं हो, सामर्थ्य न हो और आत्ममंथन की तैयारी नहीं हो, तो इवीएम पर ठीकरा फोड़ा जाता है. ताकि अपने साथियों को बता सकें कि हमने तो बहुत मेहनत की, लेकिन इवीएम की वजह से हार गये.

विपक्ष : वायनाड, रायबरेली में भी क्या देश हार गया ?
आम चुनाव के नतीजों पर विपक्ष के कटाक्ष पर पलटवार करते हुए मोदी ने कहा कि यह कहना कहां तक उचित है कि आप चुनाव जीत गये हैं, लेकिन देश हार गया है? क्या यह लोकतंत्र व देश का अपमान नहीं है? क्या वायनाड, रायबरेली में हिंदुस्तान हारा है? कांग्रेस की दिक्कत है कि वह जीत पचा नहीं पाती व हार को स्वीकार नहीं कर पाती. कांग्रेस हारी तो देश हार गया, यह कौन सा तर्क है.

जनादेश : क्या तमिलनाडु में भी किसान और मीडिया बिकाऊ है?
पीएम मोदी ने कहा कि यहां तक कहा गया कि मीडिया के कारण हम चुनाव जीत गये, क्या मीडिया बिकाऊ है? जिन राज्यों में हमारी सरकार नहीं है, उनमें भी यही लागू होगा क्या? तमिलनाडु व केरल में भी यही लागू होगा क्या? इस तरह के बयान से वोटरों का अपमान किया गया. किसान का भी अपमान किया गया. उसके लिए कह देना कि दो-दो हजार में उसने अपना वोट बेच दिया, यह सुन कर देश हैरान है.

एक देश-एक चुनाव : समय की मांग, होते रहे हैं सुधार

एक देश-एक चुनाव की चर्चा करते हुए पीएम ने कहा कि इसे एक सिरे से खारिज करना ठीक नहीं. विपक्ष को सलाह दी कि वह इस सुझाव पर विचार तो करे. 1952 से लगातार चुनाव सुधार हो रहे हैं. यह होते भी रहना चाहिए. दरअसल, कांग्रेस समेत कई विपक्षी दल इस मुद्दे से असहमत हैं. उन्होंने सवाल किया कि जब हम नया भारत बना रहे हैं, तो तकनीक से कहां तक भागेंगे ?

सरदार पटेल : कांग्रेसी थे, पर हमने दिया सम्मान

पीएम ने कहा सरदार पटेल अगर देश के पहले प्रधानमंत्री होते तो आज कश्मीर समस्या न होती, उन्होंने 500 रियासतों को एक किया, इसमें कोई दो राय नहीं है. सरदार साहब कांग्रेसी थे और हमने उनकी सबसे बड़ी प्रतिमा गुजरात में बनवायी है.

सुधार : हमने नीति, रीति और प्रवृत्ति को बदल दिया
पीएम ने कहा कि हमने नीति, रीति और प्रवृत्ति को बदला है. कांग्रेस पांच साल में 25 लाख मकान बनाती थी, हमने डेढ़ करोड़ मकान बनाये हैं. पहले सरकार का काम फीता काटना, दीया जलाना माना जाता था, पर हमने इसे बदला है.

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