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असम, बिहार, मेघालय में बाढ़ का तांडव, मृतक की संख्या सौ के पार, केरल के तीन जिलों में रेड अलर्ट

नयी दिल्ली : बिहार,असम और मेघालय में बाढ़ का प्रकोप बृहस्पतिवार को भी जारी रहा और मृतक संख्या बढ़कर 100 से अधिक हो गई. मौसम विज्ञान विभाग ने केरल के तीन जिलों में अत्यंत भारी बारिश के कारण आगामी तीन दिन के लिए रेड अलर्ट जारी किया है. उत्तर और पूर्वी भारत के कई हिस्सों […]

नयी दिल्ली : बिहार,असम और मेघालय में बाढ़ का प्रकोप बृहस्पतिवार को भी जारी रहा और मृतक संख्या बढ़कर 100 से अधिक हो गई. मौसम विज्ञान विभाग ने केरल के तीन जिलों में अत्यंत भारी बारिश के कारण आगामी तीन दिन के लिए रेड अलर्ट जारी किया है. उत्तर और पूर्वी भारत के कई हिस्सों में बारिश हुई.
घग्गर नदी का बांध टूटने के कारण पंजाब के संगरूर जिले में सेना को बुलाया गया. इसके कारण 2000 एकड़ कृषि भूमि डूब गई और बाढ़ के खतरे के डर से निकटवर्ती गांव के लोग सुरक्षित स्थानों पर चले गए. दिल्ली में रातभर हुई बारिश के कारण न्यूनतम तापमान बृहस्पतिवार सुबह मौसम के औसत से तीन डिग्री सेल्सियस कम 23.5 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया. बारिश के कारण तापमान के साथ प्रदूषण स्तर में भी कमी आई. सुबह हुई बारिश ने कई रास्तों पर यातायात की गति धीमी कर दी. कुछ निचले इलाकों में जलभराव की खबरें मिली हैं. सफदरजंग वेधशाला के अनुसार, पिछले 24 घंटे में 12.1 मिमी. बारिश हुई.
बिहार के 12 जिलों में आई बाढ़ से अब तक 78 लोगों की मौत हो चुकी है जबकि 45 लाख 40 हजार से अधिक की आबादी प्रभावित हुई है. आपदा प्रबंधन विभाग से बुधवार को प्राप्त जानकारी के मुताबिक, बिहार के 12 जिलों – शिवहर, सीतामढ़ी, मुजफ्फरपुर, पूर्वी चंपारण, मधुबनी, दरभंगा, सहरसा, सुपौल, किशनगंज, अररिया, पूर्णिया एवं कटिहार में अब तक 78 लोगों की मौत हुई है जबकि 45 लाख 40 हजार से अधिक की आबादी प्रभावित हुई है.
बिहार में सीतामढी में 18, मधुबनी में 14, अररिया में 12, शिवहर एवं दरभंगा 9-9, पूर्णिया में 7, किशनगंज में 4 और सुपौल में 3 मौतें हुई हैं. बाढ़ प्रभावित इन 12 जिलों में कुल 130 राहत शिविर चलाए जा रहे हैं जहां एक लाख 13 हजार से अधिक लोग शरण लिए हुए हैं और उनके भोजन की व्यवस्था के लिए 1119 सामुदायिक रसोई चलाई जा रही हैं.
राहत एवं बचाव कार्य के लिए एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की कुल 26 टीमें तैनात की गई हैं तथा 125 मोटरबोट का इस्तेमाल किया जा रहा है. केंद्रीय जल आयोग से प्राप्त जानकारी के मुताबिक, बिहार की कई नदियां – गंडक, बूढी गंडक, बागमती, अधवारा समूह, कमला बलान, कोसी, महानंदा और परमान नदी – विभिन्न स्थानों पर आज सुबह खतरे के निशान से ऊपर बह रही थीं.
मौसम विभाग के अनुसार, बिहार की सभी नदियों के जलग्रहण क्षेत्रों में शुक्रवार सुबह तक हल्की बारिश की संभावना जताई गई है. असम में बाढ़ में मरने वालों की संख्या बढ़कर 36 हो गई है और करीब 54 लाख लोग विस्थापित हुए हैं. राज्य के 33 में से 28 जिले अब भी भीषण बाढ़ की चपेट में हैं, हालांकि शिवसागर में जलस्तर में कुछ कमी आई है.
काजीरंगा राष्ट्रीय उद्यान और पोबितोरा वन्यजीव अभयारण्य पानी में डूबे हुए हैं और ब्रह्मपुत्र तथा इसकी सहायक नदियां गुवाहाटी समेत कई स्थानों में खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं. असम राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एएसडीएमए) के शाम के बुलेटिन के अनुसार, धेमाजी, लखीमपुर, विश्वनाथ, सोनितपुर, दरांग, उदालगिरी, बक्सा, बारपेटा, नलबाड़ी, चिरांग, बोंगाईगांव, कोकराझार, धुब्री समेत 28 जिलों में 53,52,107 लोग प्रभावित हुए हैं.
एएसडीएमए ने बताया कि बृहस्पतिवार को नौ और लोगों की मौत की खबर मिली है. इनमें से तीन लोगों की मौत मोरीगांव, दो की विश्वनाथ और एक-एक व्यक्ति की मौत सोनितपुर, उदालगिरी, बोंगाईगांव और बारपेटा जिलों में हुई. बाढ़ का सबसे अधिक प्रभाव बारपेटा जिले में हुआ है जहां 13.48 लाख लोग प्रभावित हुए हैं.
इसके अलावा पूरे राज्य में चार हजार घरों को नुकसान हुआ है. 130 मवेशी बह गए हैं और छोटे बड़े 25 लाख से अधिक पशु प्रभावित हुए हैं. 23 लाख कुक्कुट पालन पक्षी भी प्रभावित हैं. बुलेटिन में कहा गया है कि 2.26 लाख से अधिक विस्थापितों ने जिला प्रशासन द्वारा लगाए गए 1,080 राहत शिविरों और 689 राहत वितरण केन्द्रों में शरण लिये हुए हैं.
मेघालय में बाढ़ के कारण बृहस्पतिवार को दो और लोगों की मौत के बाद राज्य में मृतक संख्या बढ़कर आठ हो गयी है. बाढ़ से 1.55 लाख से अधिक लोग प्रभावित हुए हैं. दक्षिण पश्चिम गारो हिल्स जिले के उपायुक्त राम कुमार ने बताया कि बाढ़ के पानी में बह जाने से एक महिला और एक बच्चे की मौत हो गयी. उन्होंने बताया कि महेंद्रगंज के फकीरपारा में एक बुजुर्ग महिला डूब गयी, वहीं शहर के ही दासपारा में एक नवजात ने दम तोड़ दिया. गारो हिल्स जिला बाढ़ से सबसे ज्यादा प्रभावित है.
इस बीच, केरल में अगले कुछ दिन में दक्षिण पश्चिम मॉनसून के मजबूत होने के साथ ही भारतीय मौसमविज्ञान विभाग ने राज्य के तीन जिलों इडुकी, पथनमथिट्टा और कोट्टायम के लिए रेड अलर्ट जारी किया है. इडुकी जिले में 18 से 20 जुलाई तक,पथनमथिट्टा और कोट्टयम जिलों में 19 जुलाई के लिए रेड अलर्ट जारी किया गया है.
रेड अलर्ट 19 जुलाई के लिए जारी किया गया है क्योंकि इर्नाकुलम जिले में भीषण बारिश होने का अनुमान है. गौरतलब है कि रेड अलर्ट को तत्काल रक्षात्मक कदम उठाने की चेतावनी माना जाता है जिसके तहत संवेदनशील इलाकों से लोगों को निकाल कर शिविरों में ले जाने और आपातकाल किट मुहैया कराने जैसे ऐहतियाती उपाय शामिल हैं.
आईएमडी के एक अधिकारी ने पीटीआई को बताया कि जिलों में 20 सेंटीमीटर से अधिक बारिश होने का अनुमान है. अन्य जिलों के लिए यद्यपि रेड अलर्ट जारी नहीं किया गया है लेकिन इनमें भी भारी बारिश होने का पूर्वानुमान व्यक्त किया गया है. केरल और लक्षद्वीप के तट पर रहने वाले मछुआरों को समुद्र में नहीं जाने की सलाह दी गई है. उत्तर पश्चिम से 40 से 50 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से तेज हवाएं चलने के कारण मछुआरों से ऐसा करने को कहा गया है.
हरियाणा और पंजाब में अधिकतम तापमान सामान्य सीमा से कम रहा. मौसम वैज्ञानिकों ने शुक्रवार को दोनों राज्यों के कुछ स्थानों में बारिश होने का अनुमान जताया है. राजस्थान में दक्षिण-पश्चिम मानसून के फिर से सक्रिय होने से पिछले 24 घंटों के दौरान राज्य के कई हिस्सों में बारिश दर्ज की गई.

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