अमित शाह का निर्देशः संसद में उपस्थित रहें ताकि अधिक सांसदों के समर्थन से विधेयक पारित हों
नयी दिल्लीः संसद में विधेयक पारित करने के दौरान विपक्ष द्वारा मत विभाजन पर जोर देने के चलन को देखते हुए भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने पार्टी सांसदों को कई निर्देश दिए. उन्होंने सांसदों से सदन में मौजूदगी सुनिश्चित करने को कहा ताकि इन विधेयकों को अधिक से अधिक संख्या में सदस्यों का समर्थन प्राप्त […]
नयी दिल्लीः संसद में विधेयक पारित करने के दौरान विपक्ष द्वारा मत विभाजन पर जोर देने के चलन को देखते हुए भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने पार्टी सांसदों को कई निर्देश दिए. उन्होंने सांसदों से सदन में मौजूदगी सुनिश्चित करने को कहा ताकि इन विधेयकों को अधिक से अधिक संख्या में सदस्यों का समर्थन प्राप्त हो.
मंगलवार को भाजपा संसदीय दल की बैठक में अमित शाह ने ये निर्देश दिया. सूत्रों ने बताया कि शाह ने कहा कि विधेयक पर मत विभाजन के समय सांसदों की मौजूदगी जरूरी है. उन्होंने कहा कि आज (मंगलवार) राज्यसभा में तीन तलाक को निषेध बनाने संबंधी विधेयक पर मतदान के दौरान सांसद उपस्थित रहें.
संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने बताया कि कि पार्टी सांसदों के लिए 3-4 अगस्त को दो दिन की कार्यशाला का भी आयोजन किया है, उन्हें वहां भी उपस्थित रहने को कहा गया है. बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी मौजूद थे लेकिन वे कुछ नहीं बोले. शाह ने अपने संबोधन में राष्ट्रीय आयुर्विज्ञान आयोग विधेयक का जिक्र करते हुए कहा कि इसे 260 के मुकाबले 48 मतों से पारित किया गया.
सूत्रों ने बताया कि भाजपा अध्यक्ष ने कहा कि यह अंतर बड़ा हो सकता था. गौरतलब है कि प्रधानमंत्री समेत भाजपा का शीर्ष नेतृत्व बार बार सांसदों की संसद में मौजूदगी सुनिश्चित करने पर जोर देता रहा है. संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कहा कि अब तक संसद में 15 विधेयक पारित हुए हैं. लोकसभा में छह विधेयक पारित हुए हैं और इन्हें राज्यसभा की मंजूरी मिलनी बाकी है.
चार विधेयक राज्यसभा में पारित हुए हैं जिन्हें लोकसभा की मंजूरी मिलनी बाकी है. उन्होंने कहा कि 11 और विधेयक लंबित हैं जिन्हें आने वाले दिनों में संसद के दोनों सदनों में पेश किया जाना है. जोशी ने कहा कि हम सांसदों से आग्रह करते हैं कि वे देर तक बैठें ताकि विधेयकों को पारित किया जा सके.