नयी दिल्ली: जम्मू-कश्मीर को लेकर गृहमंत्री अमित शाह ने बड़ी घोषणा की. उन्होंने राज्यसभा में धारा-370 को हटाने का संकल्प प्रस्ताव पेश किया. साथ ही साल 1954 से लागू राष्ट्रपति के आदेश को संसोधनों के साथ पेश किया. उन्होंंने कहा कि राष्ट्रपति जिस तिथि को इस आदेश पत्र में हस्ताक्षर करेंगे उस दिन से धारा-370 के खंड(1) के अलावा सारे प्रावधान समाप्त समझे जाएंगे.
Constitution(application to Jammu and Kashmir) Order 2019 pic.twitter.com/ueZWl8VU59
— ANI (@ANI) August 5, 2019
इसको लेकर आदेश पत्र जारी किया गया है जिसका नाम ‘संविधान आदेश-2019’ है. ये राष्ट्रपति आदेश 1954 का अधिग्रहण करेगा. इसके साथ ही राज्य के पुनर्गठन का विधेयक भी राज्यसभा में पेश किया गया.
संवैधानिक सभा अब राज्य की विधानसभा
इस विधेयक के तहत जम्मू-कश्मीर को लद्दाख से अलग कर दिया गया है जिसकी मांग काफी पहले से ही की जा रही थी. गृह मंत्रालय के मुताबिक जम्मू-कश्मीर और लद्दाख दोनों को ही केंद्रशासित प्रदेश बना दिया गया है. जम्मू कश्मीर में पहले संवैधानिक सभा हुआ करती थी जिसे अब ‘राज्य की विधानसभा’ कहा जाएगा. हालांकि लद्दाख बिना विधानसभा वाला केंद्र शासित प्रदेश होगा.
अब जम्मू-कश्मीर विधानसभा का जो मंत्रिपरिषद होगा वो राज्यपाल के निर्देश पर काम करेगा और मंत्रिपरिषद राज्यपाल के प्रति जवाबदेह होगा. हालांकि राज्य में ‘सदर-ए-रियासत’ का का पद यथास्थान बरकरार रहेगा लेकिन उनको दिए जाने वाले निर्देश भी राज्यपाल के लिए माने जाएंगे.