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महाराष्ट्र में बगैर शिवसेना के नहीं बनेगी भाजपा की सरकार : संजय राउत

मुंबई : शिवसेना नेता संजय राउत ने बुधवार को कहा कि भाजपा राज्य में उद्धव ठाकरे नीत शिवसेना के समर्थन के बिना सरकार बनाने में सक्षम नहीं होगी. राउत की यह टिप्पणी मतगणना की पूर्व संध्या पर आयी है. इससे पहले महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के बाद आये एग्जिट पोल ने यह दिखाया है कि भाजपा […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | October 23, 2019 5:32 PM

मुंबई : शिवसेना नेता संजय राउत ने बुधवार को कहा कि भाजपा राज्य में उद्धव ठाकरे नीत शिवसेना के समर्थन के बिना सरकार बनाने में सक्षम नहीं होगी. राउत की यह टिप्पणी मतगणना की पूर्व संध्या पर आयी है.

इससे पहले महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के बाद आये एग्जिट पोल ने यह दिखाया है कि भाजपा नीत राजग आराम से बहुमत के साथ सरकार बनाने में सक्षम होगी. एक क्षेत्रीय समाचार चैनल से बात करते हुए वरिष्ठ शिवसेना नेता ने दावा किया कि उनकी पार्टी ने जिन 124 सीटों पर चुनाव लड़ा था, उनमें से वह 100 सीटों पर जीत हासिल करने में सक्षम होंगे. भाजपा ने राज्य में 164 सीटों पर चुनाव लड़ा है जिसमें छोटे सहयोगियों के उम्मीदवार भी शामिल हैं, जिन्होंने कमल छाप पर ही चुनाव लड़ा था. राज्य में कुल 288 विधानसभा सीटों के लिए चुनाव हुए हैं. राज्य में विधानसभा चुनाव के मतदान के बाद आये ज्यादातर एग्जिट पोल में भाजपा नीत गठबंधन को आराम से बहुमत मिलते हुए दिखाया गया है. इस गठबंधन में शिवसेना और अन्य पार्टियां शामिल हैं.

हालांकि, इनमें से कम से कम एक पूर्वानुमान में भाजपा को बहुमत के करीब दिखाया गया है. इस एग्जिट पोल में भाजपा को 142 सीट और शिवसेना को 102 सीटें दी गयी हैं. राज्य में सरकार बनाने के लिए साधारण बहुमत 145 सीट की है. राउत ने कहा, भाजपा बिना शिवसेना की सहायता से अगला सरकार नहीं बना सकती है चाहे शिवसेना 4-5 सीट ही क्यों न जीते. उन्होंने कहा, मेरा मानना है कि शिवसेना 100 सीटों पर जीत हासिल करेगी. लेकिन, भाजपा अकेले सरकार नहीं बना सकती है. भाजपा-शिवसेना गठबंधन इस विधानसभा चुनाव में 200 से ज्यादा सीटें जीतेगी. शिवसेना ने 2014 के विधानसभा चुनाव में 62 सीटों पर जीत दर्ज की थी. उस समय शिवसेना का चुनाव पूर्व गठबंधन भाजपा के साथ नहीं था. भाजपा ने 122 सीटों पर जीत दर्ज की थी. दोनों ही पार्टियां बाद में सरकार में सहयोगी थी.

दरअसल शिव सेना राज्य की राजनीति में खुद को ‘बिग ब्रदर’ मानती है और वह सरकार में नंबर दो की भूमिका से सहज नहीं महसूस करती. राउत ने यह स्वीकार किया कि शिवसेना और भाजपा के बीच ‘प्रेम-नफरत’ का संबंध है. राज्यसभा सदस्य ने कहा, यह गठबंधन वोटों की गिनती के बाद भी नहीं टूटेगा. हालांकि, भाजपा और शिवसेना ने 2014 में अलग-अलग चुनाव लड़ा था, लेकिन अब दोनों पार्टियां साथ हैं. यह एक तरह से प्रेम-नफरत का संबंध है.

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