शिवसेना के तेवर तल्ख : संजय राउत ने कहा- भाजपा हमें विकल्प ढूंढ़ने को विवश मत करे
मुंबई : शिवसेना नेता संजय राउत ने सोमवार को भाजपा से कहा कि वह उनकी पार्टी को महाराष्ट्र में अगली सरकार के गठन के लिए विकल्प ढूंढ़ने पर विवश न करे. उन्होंने साथ ही यह भी कहा कि राजनीति में कोई संत नहीं होता है. उल्लेखनीय है कि राज्य की 288 सदस्यीय विधानसभा के लिए […]
मुंबई : शिवसेना नेता संजय राउत ने सोमवार को भाजपा से कहा कि वह उनकी पार्टी को महाराष्ट्र में अगली सरकार के गठन के लिए विकल्प ढूंढ़ने पर विवश न करे. उन्होंने साथ ही यह भी कहा कि राजनीति में कोई संत नहीं होता है.
उल्लेखनीय है कि राज्य की 288 सदस्यीय विधानसभा के लिए गत 21 अक्तूबर को हुए विधानसभा चुनाव में किसी भी पार्टी या गठबंधन को बहुमत नहीं मिला है. राजग के घटक दलों में से भाजपा 105 सीटों के साथ सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी है और शिवसेना को 56 सीट मिली है. इन दोनों दलों के बीच सत्ता में साझेदारी को लेकर तकरार बढ़ती जा रही है. शिवसेना चाहती है कि दोनों ही दलों को बारी-बारी से मुख्यमंत्री पद की जिम्मेदारी मिले. गत 24 अक्तूबर को चुनाव परिणाम की घोषणा के बाद से ही कांग्रेस-राकांपा गठबंधन के तबकों की ओर से ऐसे संकेत मिलते रहे हैं कि राज्य में भाजपा से परे सरकार गठन का शिवसेना का कदम हकीकत में बदल सकता है. हालांकि, कांग्रेस-राकांपा की ओर से इस बारे में औपचारिक रूप से कुछ नहीं कहा गया है.
राउत ने एक समाचार चैनल के साथ बातचीत में कहा, हम गठबंधन (भाजपा के साथ) में विश्वास करते हैं. लेकिन, भाजपा को हमें सरकार गठन के लिए अन्य विकल्प ढूंढ़ने को विवश नहीं करना चाहिए. उन्होंने कहा, राजनीति में कोई संत नहीं होता. राउत की यह बात संभवत: वरिष्ठ सहयोगी भाजपा को यह संकेत है कि उससे परे सरकार गठन शिवसेना के लिए पूरी तरह असंभव नहीं है. उन्होंने दावा किया कि दोनों दल सत्ता में बराबर भागीदारी पर सहमत हुए थे और इस संबंध में मुंबई में घोषणा भी की गयी थी. राउत ने कहा कि सरकार गठन को लेकर भाजपा और शिवसेना के बीच अभी तक कोई चर्चा नहीं हुई है. उन्होंने एक सवाल के जवाब में कहा कि अगर भाजपा खुद अपने दम पर बहुमत जुटा लेती है तो वह इसका स्वागत करेंगे. राउत संसद में शिवसेना के मुख्य सचेतक और पार्टी के मुखपत्र ‘सामना’ के कार्यकारी संपादक हैं.