महाराष्ट्र : क्या कांग्रेस-NCP-शिवसेना गठबंधन बनाएगी सरकार ? राउत ने की कांग्रेस की तारीफ, बोले मलिक-CM शिवसेना का
मुंबई : महाराष्ट्र में सरकार बनाने को लेकर अभी भी प्रयास जारी है. सूबे में शिवसेना, कांग्रेस और एनसीपी के गठबंधन को लेकर प्रेस कॉन्फ्रेंस में जब संजय राउत से सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी के नेतृत्व में सरकार का गठन होगा. मुख्यमंत्री शिवसेना का होगा और उनकी चाहत है कि […]
मुंबई : महाराष्ट्र में सरकार बनाने को लेकर अभी भी प्रयास जारी है. सूबे में शिवसेना, कांग्रेस और एनसीपी के गठबंधन को लेकर प्रेस कॉन्फ्रेंस में जब संजय राउत से सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी के नेतृत्व में सरकार का गठन होगा. मुख्यमंत्री शिवसेना का होगा और उनकी चाहत है कि अगले 25 साल तक मुख्यमंत्री के पद पर शिवसेना की बैठे.
शिवसेना नेता राउत ने आगे कहा कि कॉमन मिनिमम प्रोग्राम में सरकार चलेगी और सूबे के हित को ध्यान में रखकर हम आगे बढ़ेंगे. हम महाराष्ट्र के हितों के लिए काम करते रहेंगे. सभी को साथ लेकर चलना हमारी प्राथमिकता होगी. शिवसेना जिनके साथ सरकार बनाने जा रही है, उनको सरकार चलाने का काफी सालों का अनुभव है.
संजय राउत ने की कांग्रेस की तारीफ
संजय राउत ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कांग्रेस की तारीफ की और कहा कि देश की आजादी और महाराष्ट्र के निर्माण में कांग्रेस का योगदान रहा है. राउत ने भाजपा पर निशाना साधा और कहा कि वीर सावकरकर को अब तक भारत रत्न क्यों नहीं दिया गया ? यहां चर्चा कर दें कि महाराष्ट्र में भाजपा ने चुनाव से पहले अपने घोषणा पत्र में सावरकर को भारत रत्न देने का वादा किया था.
सरकार गठन का ये हो सकता है फॉर्म्युला
इन सबके बीच सरकार गठन के फॉर्म्युला की बात भी सामने आ रही है. सूत्रों की मानें तो फॉर्म्युले के तहत शिवसेना कोटे से 16, एनसीपी कोटे से 14 जबकि कांग्रेस कोटे से 12 कैबिनेट मंत्री बनाये जा सकते हैं. यही नहीं विधानसभा स्पीकर के पद पर पर कांग्रेस का नुमाईंदा बैठ सकता है जबकि डेप्युटी स्पीकर पोस्ट शिवसेना के खाते में जा सकती है. विधान परिषद अध्यक्ष और उपाध्यक्ष का पद एनसीपी और शिवसेना को दिया जा सकता है.
एनसीपी ने कही ये बात
एनसीपी नेता नवाब मलिक ने कहा कि सवाल बार बार किया जा रहा है कि क्या मुख्यमंत्री शिवसेना का होगा ? तो मैं यह कहना चाहता हूं कि सीएम के पोस्ट को लेकर ही भाजपा और शिवसेना के बीच विवाद हुआ तो निश्चित रूप से सीएम शिवसेना का ही होगा. शिवसेना को भाजपा ने अपमानित किया. शिवसेना का अभिमान बनाए रखना हमारी जिम्मेदारी है.