महाराष्ट्र मंत्रिमंडल में आदित्य को शामिल करने के क्या हैं मायने

मुंबई : चुनाव मैदान में बतौर प्रत्याशी उतरने वाले ठाकरे परिवार के पहले सदस्य आदित्य ठाकरे ने अपने पिता उद्धव ठाकरे की अगुवाई वाली शिवसेना-राकांपा-कांग्रेस की गठबंधन सरकार में सोमवार को मंत्री पद की शपथ ली. आदित्य ठाकरे के बारे में माना जा रहा है कि वह पार्टी और सरकार दोनों में ज्यादा अहम भूमिका […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 30, 2019 4:06 PM

मुंबई : चुनाव मैदान में बतौर प्रत्याशी उतरने वाले ठाकरे परिवार के पहले सदस्य आदित्य ठाकरे ने अपने पिता उद्धव ठाकरे की अगुवाई वाली शिवसेना-राकांपा-कांग्रेस की गठबंधन सरकार में सोमवार को मंत्री पद की शपथ ली.

आदित्य ठाकरे के बारे में माना जा रहा है कि वह पार्टी और सरकार दोनों में ज्यादा अहम भूमिका में नजर आ सकते हैं. राज्य में 21 अक्तूबर को हुए विधानसभा चुनाव में मुंबई की वरली विधानसभा सीट से 29 वर्षीय आदित्य को जबर्दस्त जीत मिली थी. युवा शिवसेना नेता अब अपनी पार्टी को और अधिक समावेशी एवं विविधतापूर्ण बनाने की कोशिश करेंगे. चुनाव प्रचार के दौरान, उन्होंने कई रोड शो, रैलियां कीं और आरे कॉलोनी में पेड़ों की कटाई और मुंबई की नाइट लाइफ जैसे मुद्दे उठाये. उन्होंने कहा कि वह अपने निर्वाचन क्षेत्र को ‘विकास का मॉडल’ बनाना चाहते हैं. अपनी बड़ी जीत को आसान बनाने के लिए ‍उन्होंने निर्वाचन क्षेत्र के गैर मराठी मतदाताओं से भी संपर्क किया.

माहिम के बंबई स्कॉटिश स्कूल से पढ़े आदित्य ने सेंट जेवियर्स कॉलेज से अंग्रेजी साहित्य में स्नातक किया है और उन्होंने केसी कॉलेज से लॉ में भी डिग्री हासिल है. वह राज्य में जन मुद्दों और युवाओं की चिंता के प्रति खुद को हमेशा सजग रखते हैं. प्लास्टिक के इस्तेमाल को प्रतिबंधित करने के महाराष्ट्र सरकार के फैसले का कुछ हद तक श्रेय उनके अभियान को दिया जाता है. उन्होंने सभी मॉल एवं रेस्तरां को रात भरा खुला रखने की अनुमति देकर मुंबई की नाइट लाइफ में जान फूंकने का भी प्रस्ताव दिया. युवा राजनीतिक के अंदर उनके दादा बालासाहेब ठाकरे, पिता उद्धव ठाकरे और चाचा राज ठाकरे का रचनात्मक पहलू भी देखने को मिलता है.

Next Article

Exit mobile version