नयी दिल्ली: स्पेक्ट्रम आबंटन के मद्देनजर दूरसंचार नियामक ट्राई ने स्पेक्ट्रम नीलामी के अगले दौर के लिये विचार विमर्श की प्रक्रिया शुरू कर दी है. अभी यह स्पेक्ट्रम एयरटेल, वोडाफोन,आइडिया और रिलायंस कम्युनिकेशंस मोबाइल कंपनियों के पास है. उनके कुछ लाइसेंस 2015-16 में समाप्त होने वाले हैं.
भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) ने यहां जारी एक वक्तव्य में कहा, ट्राई ने आज स्पेक्ट्रम मूल्य के बारे में विचार विमर्श प्रपत्र जारी किया. यह प्रपत्र 2015-16 में समाप्त होने वाले लाइसेंस के बारे में जारी किया गया. ट्राई की इस प्रकिया से देश के 22 दूरसंचार सेवा क्षेत्रों में 18 में उपयोग में लाये जा रहे स्पेक्ट्रम की नीलामी के लिये आरक्षित मूल्य तय किया जायेगा. यह स्पेक्ट्रम 900 और 1800 मेगाहट्र्ज श्रेणी में है. जीएसएम प्रौद्योगिकी को उपयोग में लाने वाले मोबाइल सेवा प्रदाता कंपनियां इसका इस्तेमाल कर रही है.
ट्राई ने परिचर्चा प्रपत्र पर सुझाव और टिप्पणियां प्राप्त करने के लिये 8 सितंबर अंतिम तिथि रखी है जबकि जवाबी टिप्पणी के लिये 15 सितंबर तक सुझाव मांगे हैं.ट्राई इस मामले में 22 सितंबर को खुली चर्चा का आयोजन करेगा और मुद्दे पर विस्तार से विचार विमर्श करेगा.
सरकार ने चालू वित्त वर्ष के बजट में 800 मेगाहट्र्ज, 900 मेगाहट्र्ज और 1,800 मेगाहटर्ज बैंड में स्पेक्ट्रम नीलामी से 9,355 करोड रपये का न्यूनतम राजस्व मिलने का अनुमान लगाया है.ट्राई सीडीएमए स्पेक्ट्रम नीलामी की पहले ही सिफारिश कर चुका है.