”मनमोहन सिंह को लिखनी चाहिए अपनी आत्मकथा”
नयी दिल्ली: पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की बेटी दमन सिंह ने पिता को अपनी आत्मकथा लिखने के लिए आग्रह की हैं. दमन ने कहा कि यह निराश करने वाली बात है कि उनके पिता के 10 साल के शासनकाल के अंत में जनमत उनके खिलाफ बन गया. गौरतलब हो कि मनमोहन सिंह की बेटी दमन […]
नयी दिल्ली: पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की बेटी दमन सिंह ने पिता को अपनी आत्मकथा लिखने के लिए आग्रह की हैं. दमन ने कहा कि यह निराश करने वाली बात है कि उनके पिता के 10 साल के शासनकाल के अंत में जनमत उनके खिलाफ बन गया.
गौरतलब हो कि मनमोहन सिंह की बेटी दमन सिंह ने अपने माता-पिता की जीवनी लिखी हैं. स्ट्रक्टिली पर्सनल: मनमोहन एंड गुरशरण नाम की किताब लिखने वाली दमन की किताब कल प्रकाशित होगी. उन्होंने कहा कि जनमत अस्थायी होता है और वह समय के साथ बदलता है. हेडलाइंस टुडे चैनल पर वरिष्ठ पत्रकार करण थापर के कार्यक्रम नथिंग बट दि ट्रूथ में खासकर यह पूछे जाने पर कि क्या वह निराश हैं, इस पर दामन ने कहा, यह निराश करने वाली बात है क्योंकि उन्होंने काफी कडी मेहनत की थी. उन्होंने काम किया था…..यह दुख की बात है कि उनके कामों को सराहा नहीं गया.
मीडिया से मनमोहन के रिश्ते के बारे में पूछने पर दामन ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री जब वित्त मंत्री हुआ करते थे तो उन्हें मीडिया से बात करना अच्छा लगता था पर उसके बाद मीडिया काफी बदल गया. यह पूछे जाने पर कि मनमोहन फिर बदल क्यों गए, इस पर दामन ने कहा, वह नहीं बदले हैं. मीडिया बदल गया है. मेरा मानना है कि उन दिनों मीडिया गंभीर मुद्दों में ज्यादा रुचि लेता था और मैं मानती हूं कि वह गंभीर मुद्दों को समझने के मामले में भी ज्यादा सक्षम था.
दामन ने कहा कि उनके पिता बुद्धिमानी भरी बातचीत पसंद करते हैं. दामन की किताब में मनमोहन और उनकी पत्नी की जिंदगी के बारे में लिखा गया है. हालांकि, 2004 में मनमोहन के प्रधानमंत्री बनने के बाद की बातें किताब में नहीं लिखी गई हैं.