डीजल को नियंत्रणमुक्त करने के लिये मंत्रिमंडल की मंजूरी लेगा पेट्रोलियम मंत्रालय

नयी दिल्ली: डीजल का खुदरा बिक्री मूल्य इसके वैश्विक मूल्य के बराबर पहुंच जाने के बाद पेट्रोलियम मंत्रलय डीजल को नियंत्रण मुक्त करने के लिये मंत्रिमंडल की मंजूरी लेगा. साथ ही ओएनजीसी जैसी तेल उत्खनन कंपनियों द्वारा दी जाने वाली सब्सिडी में भी आधी कटौती का प्रस्ताव कर सकता है. सरकार ने जून 2010 में […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 26, 2014 7:10 PM

नयी दिल्ली: डीजल का खुदरा बिक्री मूल्य इसके वैश्विक मूल्य के बराबर पहुंच जाने के बाद पेट्रोलियम मंत्रलय डीजल को नियंत्रण मुक्त करने के लिये मंत्रिमंडल की मंजूरी लेगा. साथ ही ओएनजीसी जैसी तेल उत्खनन कंपनियों द्वारा दी जाने वाली सब्सिडी में भी आधी कटौती का प्रस्ताव कर सकता है.

सरकार ने जून 2010 में पेट्रोल के दाम नियंत्रण मुक्त कर दिये थे और पिछले साल जनवरी में डीजल के दाम में हर महीने 50 पैसे प्रति लीटर वृद्धि के साथ चरणबद्ध तरीके से इसे भी नियंत्रणमुक्त करना शुरु किया था.

इससे खुदरा बिक्री मूल्य तथा आयातित लागत के बीच अंतर या घाटा कम होकर 1.78 रुपये लीटर रह गया है और अक्तूबर में पंप पर बिकने वाले डीजल का मूल्य उनकी लागत के बराबर होगा.

एक अधिकारी ने कहा, ‘‘एक बार यदि यह हो जाता है, तो डीजल के दाम को नियंत्रण मुक्त करने का प्रस्ताव मंत्रिमंडल की राजनीतिक मामलों की समिति (सीसीपीए) के समक्ष रखा जाएगा जैसा कि पेट्रोल के मामले में किया गया.

नियंत्रण मुक्त होने के बाद सार्वजनिक क्षेत्र की तेल कंपनियां पेट्रोल की तरह ही डीजल के दाम में भी वैश्विक मूल्य के अनुसार घट-बढ कर सकेंगी.अधिकारी ने कहा, हालांकि ऐसा करने से पहले, मंत्रालय तेल विपणन कंपनियों को होने वाले घाटे की भरपाई के बोझ को बांटने में बदलाव को लेकर सीसीपीए के समक्ष जायेगी.

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