गृहमंत्री की चीन को दो टूक कहा, भारत को कोई धमका नहीं सकता

नयी दिल्ली : हरियाणा के मनेसर में नेशनल सिक्यूरिटी गार्ड समारोह के अवसर पर गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने क‍हा कि कुछ ऐसे तत्व है जो हमारे देश में शांति नहीं देख पा रहे हैं. वे भारत को किसी न किसी तरीके से परेशान करने में लगे हुए हैं. वहीं चीन और भारत की सीमा को […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | October 16, 2014 1:24 PM

नयी दिल्ली : हरियाणा के मनेसर में नेशनल सिक्यूरिटी गार्ड समारोह के अवसर पर गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने क‍हा कि कुछ ऐसे तत्व है जो हमारे देश में शांति नहीं देख पा रहे हैं. वे भारत को किसी न किसी तरीके से परेशान करने में लगे हुए हैं. वहीं चीन और भारत की सीमा को लेकर चल रहे विवाद पर गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि इस संबंध में हमारे पड़ोसी देश को बैठ कर बातचीत करनी चाहिए. उन्होंने ने कहा कि कोई भी शक्ति भारत को आंख नहीं दिखा सकती.

उन्होंने कहा, ‘‘आज, कोई भी भारत को चेतावनी नहीं दे सकता. हम बहुत ही मजबूत देश हैं. ’’ सिंह से चीन के बुनियादी ढांचा विकास की बराबरी करने के लिए अरुणाचल प्रदेश के चांगलांग जिले में माओ-थिंग्बू से तवांग तक मैकमोहन रेखा के समीप सडक बनाने की योजना पर उसकी (चीन की) कडी प्रतिक्रिया के बारे में पूछा गया था. चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता होंग ली ने बीजिंग में कहा था,‘‘चीन-भारत सीमा के पूर्वी हिस्से के बारे में विवाद है. अंतिम निस्तारण होने से पहले हम आशा करते हैं कि भारत ऐसी कोई कार्रवाई नहीं करेगा जिससे स्थिति और जटिल हो जाए.’’

गृहमंत्री ने कहा कि भारत और चीन को सीमा विवाद सुलझाने के लिए मिल-बैठकर बात करनी चाहिए. सरकार चीन-भारत सीमा के समीप खासकर अरुणाचल प्रदेश और जम्मू कश्मीर में बुनियादी ढांचे में सुधार के लिए कई कदम उठा रही है. दोनों देशों के सीमा प्रहरी 11 सितंबर से करीब एक पखवाडे तक लद्दाख के चुमार में एक दूसरे के सामने डटे रहे और चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग की तीन दिवसीय यात्रा इसीके साए में हुई.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने चीनी राष्ट्रपति के समक्ष दो बार यह मुद्दा उठाया. जब चीनी श्रमिक वास्तविक नियंत्रण रेखा पारकर भारतीय क्षेत्र में पांच किलोमीटर अंदर अपने उपकरण लेकर सडक बनाने पहुंच गए तब तनाव पैदा हो गया था। दोनों सेनाओं के बीच कई दौर की बातचीत के बाद गतिरोध समाप्त हुआ. गृहमंत्री ने चीन से लगती 3488 किलोमीटर लंबी सीमा की वर्तमान स्थिति और भविष्य में अतिक्रमण रोकने के लिए उठाए जा रहे कदमों की मंगलवार को समीक्षा की थी.

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