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पहले सरकार ने आधार को कहा ना-ना अब बने मुरीद

नयी दिल्ली : पहले आधार योजना की निंदा करने वाली भाजपा सरकार अब इसकी मुरीद बन गयी है. आज आयी खबरों के अनुसार गृह मंत्रालय अपने पहले के रुख से पलटते हुए आधार योजना का पूर्ण समर्थन कर रही है. मंत्रालय की ओर से कहा गया है कि वह कभी भी, कहीं भी, किसी भी […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | October 26, 2014 12:46 PM

नयी दिल्ली : पहले आधार योजना की निंदा करने वाली भाजपा सरकार अब इसकी मुरीद बन गयी है. आज आयी खबरों के अनुसार गृह मंत्रालय अपने पहले के रुख से पलटते हुए आधार योजना का पूर्ण समर्थन कर रही है.

मंत्रालय की ओर से कहा गया है कि वह कभी भी, कहीं भी, किसी भी तरह इसके लाभार्थियों को इसके प्रमाणन में मदद करेगी. सभी राज्य सरकारों को लिखे पत्र में गृह मंत्रालय ने कहा कि एक आधार संख्या केवल एक व्यक्ति को आवंटित की जाती है, इससे एक पहचान की सार्वभौम पुष्टि करने में मदद मिलेगी.

आधार कार्ड वंचित और जरूरतमंद लोगों को बैंकिंग सुविधा जैसी सेवाओं तक पहुंचबनाने में मदद करता है. इसमें कहा गया है कि, चूंकिआधार व्यक्ति की भौगोलिक और बायोमेट्रिक सूचना पर आधारित है, इससे धोखाधड़ी और फर्जी गतिविधियों को समाप्त करने में मदद मिलेगी.

पत्र के अनुसार, आधार सार्वभौम पहचान प्रदान करेगा. यह कभी भी, कहीं भी और किसी भी तरह इसके लाभार्थियों की पहचान की प्रमाणिकता की पुष्टि का एक स्रोत प्रदान करेगा. गृह मंत्रालय का ताजा रुख पहले के रुख से पूरी तरह से विपरीत है जो राजनाथ सिंह के दो पूर्ववर्ती सुशील कुमार शिंदे और पी चिदंबरम के समय व्यक्त किये गये थे.

पूर्ववर्ती संप्रग सरकार के समय गृह मंत्रालय ने भारतीय विशिष्ठ पहचान संख्या (यूआईडीएआई) के आंकडों की विश्वसनीयता पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा था कि पहचान की विशिष्ठता किसी की पहचान की प्रामाणिकता या दूसरे आधार संख्या की प्रमाणिकता सुनिश्चित करने के लिए जरूरी शर्त नहीं है.

उस समय मंत्रालय ने आधार संख्या प्राप्त करने के लिए लोगों की ओर से पेश किये गए पहचान और पते का प्रमाण संबंधी दस्तावेज पर सवाल खड़ा किया था. राज्य सरकारों को लिखे ताजा पत्र में गृह मंत्रालय ने कहा कि आधार के कई फायदे हें और इसका उपयोग कई स्थानों पर एक पहचान साबित करने के लिए आसानी से किया जा सकता है.

कोई भी व्यक्ति बैंक में खाता खुलवाने के लिए आधार संख्या का उपयोग कर सकता है जहां आरबीआई के नियमों के तहत उसे अपने उपभोक्ता का जानें पेश करना होता है. इसका उपयोग ऑनलाइन टिकट बुक करने, पासपोर्ट के लिए आवेदन करने और कई ऐसे स्थानों पर जहां पहचान का प्रमाण पेश करना होता है. मंत्रालय ने कहा, आधार से दूसरे स्थान पर जाने वालों को सार्वभौम पहचान की सुविधा मिल सकेगी.

सरकार अब लोगों को सेवा और सुविधा प्रदान कर सकेगी विशेष तौर पर ग्रामीण क्षेत्रों में. गृह मंत्रालय ने कहा, अधिक से अधिक सरकारी सेवाओं के आधार से जुड़ने के कारण आधार कार्ड होना उपयोगी है. आधार से गरीबों को सरकारी सुविधाओं का लाभ प्राप्त करने में मदद मिले जो पहले उन्हें सुलभ नहीं थी. आधार और राष्ट्रीय जनसंख्या रजिस्टर सरकार की राष्ट्रीय पहचान कार्यक्रम है जिसे यूआईडीएआई ने लागू किया और बाद में गृह मंत्रालय के भारतीय महापंजीयक ने.

इसके तहत बायोमेट्रिक आंकडों के रूप में 10 अंगुलियों की छाप, दोनों आंखों की पुतलियों के चित्र और फोटे लिये जाते हैं. पंजीकरण के दौरान व्यक्ति की पहचान और पते की पुष्टि की जाती है.

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