नयी दिल्ली : चुनाव आयोग ने आज दिल्ली में अगले महीने होने वाले विधानसभा उपचुनावों के चलते लागू आदर्श चुनाव आचार संहिता को ध्यान में रखते हुए गृह मंत्रालय से 1984 के सिख विरोधी दंगा पीडितों के परिजनों को पांच लाख रुपये मुआवजा देने के उसके फैसले पर स्पष्टीकरण मांगा है.
सूत्रों के मुताबिक चुनाव आयोग ने गृह मंत्रालय को पत्र लिखकर उससे तीन नवम्बर तक अपना जवाब देने को कहा है. चुनाव आयोग ने अपने पत्र में कहा कि दिल्ली में आदर्श चुनाव आचार संहिता लागू है, जहां 25 नवम्बर को विधानसभा की तीन सीटों, कृष्णानगर, महरौली और तुगलकाबाद के लिए उपचुनाव होने हैं.
इन निर्वाचन क्षेत्रों के विधायकों के लोकसभा के लिए चुन लिये जाने के कारण ये सीटें रिक्त हैं. गृह मंत्रालय ने 1984 में तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की हत्या के बाद हुए सिख विरोधी दंगों के 3,325 पीडितों के परिजनों को पांच पांच लाख रुपए का मुआवजा देने का निर्णय किया है. एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने कहा कि सिख विरोधी दंगों के पीडितों को दिया जाने वाला यह मुआवजा अब तक सरकार और अन्य एजेंसियों से समय समय पर मिली राशि के अलावा होगा.
दंगा पीडित 3,325 लोगों में से 2,733 लोग सिर्फ दिल्ली में मारे गए थे जबकि बाकि पीडित उत्तर प्रदेश, हरियाणा, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र और अन्य राज्यों से थे. नये मुआवजे से सरकारी खजाने पर 166 करोड रुपये का बोझ पडेगा. चुनाव आयोग ने दिल्ली में विधानसभा उपचुनाव कराने की घोषणा के साथ ही जम्मू कश्मीर और झारखंड में विधानसभा चुनाव कराने का भी ऐलान किया था.