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भाजपा सरकार को अस्थिर किये बिना प्रभावी विपक्ष की भूमिका निभाएंगे: पवार

मुंबई : महाराष्ट्र में तेजी से बदल रहे राजनीतिक घटनाक्रम के बीच एक और मोड़ आ गया है. राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के प्रमुख शरद पवार ने आज कहा कि महाराष्ट्र में फिर से चुनाव टालने के लिए राकांपा ने यह फैसला किया था कि राज्य में उनकी पार्टी भाजपा सरकार को बाहर से समर्थन […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 10, 2014 8:52 PM

मुंबई : महाराष्ट्र में तेजी से बदल रहे राजनीतिक घटनाक्रम के बीच एक और मोड़ आ गया है. राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के प्रमुख शरद पवार ने आज कहा कि महाराष्ट्र में फिर से चुनाव टालने के लिए राकांपा ने यह फैसला किया था कि राज्य में उनकी पार्टी भाजपा सरकार को बाहर से समर्थन देगी. लेकिन इसके साथ ही उन्होंने यह स्पष्ट किया कि उनकी पार्टी प्रभावी विपक्ष की भूमिका निभाएगी.

पवार ने कहा कि अल्पमत सरकार को समर्थन देने का फैसला सोच-समझकर लिया गया और यह पार्टी का सामूहिक निर्णय था. यह भाजपा के साथ किसी गुप्त सौदे का हिस्सा नहीं था.

उन्होंने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि हमने अपने फैसले के बारे में किसी के साथ विचार-विमर्श नहीं किया है. यह राज्य के व्यापक हितों के मद्देनजर सोच-समझकर लिया गया और सामूहिक फैसला था. किसी ने हमसे समर्थन के लिए नहीं कहा. भाजपा हमारा समर्थन नहीं स्वीकार करने के लिए स्वतंत्र है. पवार ने कहा कि चूंकि कांग्रेस और राकांपा वैकल्पिक सरकार बनाने की स्थिति में नहीं थीं, ऐसे में फिर से चुनाव की स्थिति को टालने के लिए एकमात्र तरीका भाजपा सरकार को समर्थन देना था.

उन्होंने कहा कि विधायकों की संख्याएं ऐसी हैं कि वैकल्पिक सरकार की कोई संभावना नहीं है. हम नहीं चाहते कि राज्य में तत्काल एक और चुनाव हो.

पवार ने उन बातों को खारिज कर दिया कि राकांपा द्वारा भाजपा सरकार को बाहर से समर्थन देना किसी गुप्त सौदे का हिस्सा है. उन्होंने कहा, राज्य की सरकार, राकांपा नेताओं के खिलाफ सभी आरोपों की जांच के लिए स्वतंत्र है ताकि सच्चाई सामने आ सके. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि अगर राज्य की भाजपा सरकार के फैसले या विधेयक लोकोन्मुखी नहीं होंगे तो हम सरकार का समर्थन नहीं करेंगे.

उन्होंने कहा, हालांकि राकांपा सरकार को अस्थिर नहीं करेगी लेकिन वह एक प्रभावी विपक्ष की भूमिका निभाएगी. यह पूछे जाने पर कि क्या राकांपा सरकार द्वारा बुधवार को पेश किए जाने वाले विश्वासमत प्रस्ताव के पक्ष में मतदान करेगी या मतदान में भाग नहीं लेगी, पवार ने कहा, विधायक दल उसी दिन फैसला करेगा. महाराष्ट्र में अभी विधानसभा की प्रभावी संख्या 287 है और भाजपा के पास 121 विधायक हैं. उसे सात निर्दलीय और कुछ छोटे दलों का समर्थन मिला है. शिवसेना के पास 63 विधायक हैं जबकि राकांपा के 41 सदस्य हैं.

अगर शिवसेना अंतत: विपक्ष में बैठने और सरकार के खिलाफ मतदान का फैसला करती है तो देवेंद्र फडणवीस सरकार राकांपा की मदद से बहुमत साबित कर सकती है.

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