राजधानी पहुंचा ओबामा का बख्तरबंद वाहन बीस्ट

नयी दिल्ली : अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा का विशेष वाहन ‘बीस्ट’ राष्ट्रीय राजधानी पहुंच गया है और उस पर एक निगाह डालने से ही साफ हो जाता है कि क्यों अमेरिकी खुफिया सेवा चाहती है कि वह गणतंत्र दिवस परेड के सलामी मंच तक पंहुचने के लिए इसी वाहन की सवारी करें.अगर ओबामा प्रोटोकाल का […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | January 23, 2015 3:08 PM

नयी दिल्ली : अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा का विशेष वाहन ‘बीस्ट’ राष्ट्रीय राजधानी पहुंच गया है और उस पर एक निगाह डालने से ही साफ हो जाता है कि क्यों अमेरिकी खुफिया सेवा चाहती है कि वह गणतंत्र दिवस परेड के सलामी मंच तक पंहुचने के लिए इसी वाहन की सवारी करें.अगर ओबामा प्रोटोकाल का पालन करते हैं और राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी के साथ राजपथ पहुंचते हैं तो संभवत: वह पहले अमेरिकी राष्ट्रपति होंगे जो अपने अत्यंत सुरक्षित बम प्रूफ वाहन में सफर नहीं करेंगे.

खुली लिंकन कांटीनेंटल में सवार अमेरिकी राष्ट्रपति जॉन एफ केनेडी की हत्या के बाद से ही अमेरिका ने अपने राष्ट्रपतियों के वाहनों को अभेद्य बनाने में कोई कोर-कसर नहीं छोडी.ओबामा का ‘बीस्ट’ भी ऐसा ही एक वाहन है. इसपर आठ इंच मोटा बख्तर लगा है जबकि इसकी पांच इंच मोटी बुलेटप्रूफ खिडकियां राष्ट्रपति को रासायनिक हमले समेत हर तरह के खतरों से महफूज रखती हैं.
राष्ट्रपति के वाहन के दरवाजे बोइंग 757 के दरवाजों के बराबर वजन वाले हैं. आठ टन की यह गाडी ‘श्रेड’ एवं ‘पंक्चर’ रोधी केवलर रीइन्फोस्र्ड टायरों पर चलती है जिसके अंदर की मजबूत स्टील की रिम सुनिश्चित करती है कि अगर टायरों को कोई नुकसान भी पंहुचे तो गाडी कहीं नहीं रुके.
इस गाड़ी की सुरक्षा व्यवस्था इस कदर मजबूत है कि इसके फ्युएल टैंक पर विशेष फोम की परत चढाई गई है जो विस्फोट की स्थितियों से उसे बचाती है. बीस्ट का उपयोग अमेरिकी राष्ट्रपतियों के सुरक्षा कवच के तौर पर किए जाने के साथ ही राजनीतिक बयान के रुप में भी किया जाता रहा है.हाल ही में, ओबामा ने इसकी नंबर प्लेट पर ‘प्रतिनिधित्व के बगैर कराधान’ का संदेश डलवाया था जो अमेरिकी कांग्रेस में अपने प्रतिनिधित्व की वाशिंगटन डीसी के नागरिकों की मांग को प्रतिबिंबित करता था.

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