नयी दिल्लीः संसदीय कार्यमंत्री वेंकैया नायडू की टिप्पणी से आहत विपक्ष ने आज लोकसभा की कार्यवाही शुरू होते ही हंगामा शुरू कर दिया, जिसकी वजह से सदन को पहले 15 मिनट के लिए और फिर 11.30 बजे तक स्थगित करना पड़ा. हालांकि इस टिप्पणी पर नायडू ने दो बार सफाई दी जिसके बाद विपक्ष मान गया. इससे पहले विपक्ष का कहना था कि जब तक संसदीय कार्य मंत्री अपने बयान के लिए माफी नहीं मांगेंगे सदन नहीं चलने दिया जाएगा.
गौरतलब हे कि संसदीय कार्य मंत्री वेंकैया नायडू ने राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चर्चा के दौरान बुधवार को विपक्ष को आत्माचिंतन करने की सलाह दी थी कि जनता ने उसे क्यों नकार दिया है. नायडू ने विपक्षी पार्टियों सीपीआई, सीपीएम को लेकर टिप्पणियां भी की थीं. सीपीआई को जहां उन्होंने कंन्ज्यूमर प्राइस इंडेक्स कहा, वहीं सीपीएम को कांग्रेस से भी बदतर बताया था. उन्होंने कहा था कि हम पचास साल तक विपक्ष में रहे और चुप थे. अब आप भी अगले पांच सालों तक चुप रहना सीख लीजिए.
उनके इस ताने भरे टिप्पणी से विपक्ष भड़क गया और संसद की कार्यवाही शुरू होने से पहले सोनिया गांधी की अध्यक्षता में विपक्षी पार्टियों ने संयुक्त बैठक की और मांग की कि वेंकैया नायडू अपने बयान के लिए माफी मांगें. बैठक में फैसला हुआ है जब तक सरकार वेंकैया नायडू के बयान पर माफी नहीं मांगेगी, हम रेल बजट पेश नहीं होने देंगे.
विपक्ष के तेवर को भांपते हुए सदन की कार्यवाही शुरू होते ही वेंकैया नायडू ने कहा मेरा सबके प्रति सम्मान है. हम हमेशा विपक्ष का आदर करते हैं इसलिए मेरे बारे में कोई दूसरा विचार विपक्ष के मन में होना नहीं चाहिए. मैंने किसी का अनादर नहीं किया. इसे दिल से नहीं लेना चाहिए.
वेंकैया नायडू की इस सफाई के बावजूद विपक्ष माफी की मांग पर अड़ा रहा. सदन में कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि नायडू ने जो कुछ कहा है, वह गलत परंपराएं शुरू करेगा. उन्होंने कहा कि विपक्षी दलों को लेकर जो टिप्पणियां की गई हैं उन्हें स्वीकार नहीं किया जा सकता. 11.30 के बाद लोकसभा की कार्यवाही फिर शुरू हुई औप वेंकैया ने अपने बयान को लेकर फिर सफाई दी. इसके बाद गतिरोध खत्म हो गया और रेल बजट को पेश किया जा सका.