समाज में बुजुर्गो की इज्जत पर घर में नहीं
नयी दिल्ली: भारत में बुजुर्गो से प्यार किया जाता है और उन्हें सम्मान भी दिया जाता है लेकिन बुजुर्ग लोगों के सामने पेश आने वाले मुद्दों के प्रति युवा पीढ़ी की जागरुकता उनके प्रति वास्तविक मदद में तब्दील नहीं हो पाती.रिसर्च एंड एडवोकेसी सेंटर आफ ऐजवैल फाउंडेशन द्वारा करवाए गए एक सर्वेक्षण में यह बात […]
नयी दिल्ली: भारत में बुजुर्गो से प्यार किया जाता है और उन्हें सम्मान भी दिया जाता है लेकिन बुजुर्ग लोगों के सामने पेश आने वाले मुद्दों के प्रति युवा पीढ़ी की जागरुकता उनके प्रति वास्तविक मदद में तब्दील नहीं हो पाती.रिसर्च एंड एडवोकेसी सेंटर आफ ऐजवैल फाउंडेशन द्वारा करवाए गए एक सर्वेक्षण में यह बात सामने आयी है कि आज की युवा पीढ़ी अपने खुद के घरों में जानबूझकर या अनजाने में बुजुर्ग लोगों को पूरी तरह नजरअंदाज कर देती है लेकिन पड़ोस में बुजुर्गो के प्रति सम्मान का भाव दिखाने के लिए क्षमता से भी आगे जाकर काम करती है. सर्वे की रिपोर्ट कहती है, ‘‘ जहां सामाजिकता की बात आती है , बुजुर्ग लोगों को सम्मान मिल रहा है लेकिन घर में उन्हें महत्वपूर्ण नहीं माना जाता.’’
59 3 फीसदी लोगों ने माना कि समाज में और घर पर लोग बुजुर्ग लोगों के साथ कैसे पेश आते हैं , इस संबंध में उनके व्यवहार में विरोधाभास है. केवल 14 फीसदी का कहना है कि ऐसा कोई विरोधाभास नहीं है तथा बुजुर्गो की हालत दोनों जगह एक जैसी है.सर्वेक्षण कहता है कि परिवार के सदस्य अपने घर के बुजुर्गो को हल्के में लेते हैं और बुजुर्ग बढ़कर उन पर अपना अधिकार नहीं जताना चाहते.एक चौथाई प्रतिभागियों ने इस बात पर सहमति जतायी कि घरों में बुजुर्गो का सम्मान खत्म हो गया है.