आप का स्टिंग पेश नहीं कर सके आसिफ, कुछ और स्टिंग होने का दावा किया
नयी दिल्ली: आम आदमी पार्टी (आप) से संबंधित कुछ स्टिंग सामने आने के बाद आज कांग्रेस के पूर्व विधायक आसिफ मोहम्मद खान ने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल एवं आप के कुछ दूसरे नेताओं के दो और टेप होने का दावा किया, हालांकि आज कोई भी स्टिंग पेश करने में नाकाम रहे. ओखला से विधायक […]
नयी दिल्ली: आम आदमी पार्टी (आप) से संबंधित कुछ स्टिंग सामने आने के बाद आज कांग्रेस के पूर्व विधायक आसिफ मोहम्मद खान ने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल एवं आप के कुछ दूसरे नेताओं के दो और टेप होने का दावा किया, हालांकि आज कोई भी स्टिंग पेश करने में नाकाम रहे.
ओखला से विधायक रह चुके खान ने पहले के दावे के विपरीत कोई स्टिंग सार्वजनिक नहीं किया और टेप में शामिल बातों को लेकर भी वह पूरी तरह स्पष्ट नहीं दिखे.उन्होंने संवाददाताओं से कहा, ‘‘कल मैंने कहा था कि मेरे पास संजय सिंह का एक स्टिंग है. आज मेरे पास अरविंद केजरीवाल का एक और स्टिंग है.’’ खान ने कल दावा किया था कि उन्होंने पिछले साल सरकार बनाने की संभावना को लेकर उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया और आप नेता संजय सिंह के साथ उनकी दो बार चर्चा हुई थी.
उन्होंने कहा, ‘‘मुलाकात एक पत्रकार के आवास पर उसके द्वारा ही कराई गई थी. हमने दो बैठकें की. सिंह ने मुझसे कहा कि मैं आप को समर्थन करने के लिए कांग्रेस नेतृत्व को मनाउं.’’ खान ने एक ऑडियो टेप में केजरीवाल पर उस कथित टिप्पणी को लेकर भी निशाना साधा जिसमें कथित तौर पर कहा गया है कि मुस्लिम अपने समुदाय से अधिक लोगों को टिकट दिए जाने की उम्मीद नहीं करते हैं, बल्कि चाहते हैं कि आप प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पराजित करे.
आसिफ मोहम्मद खान के दावों को खारिज करते हुए सिंह ने कहा कि अगर यह साबित हो गया कि उन्होंने खान या किसी अन्य को पैसे अथवा मंत्री पद की पेशकश की है तो वह राजनीति छोड देंगे.सिंह ने कहा, ‘‘उन्होंने पहले कहा था कि वह कल शाम को स्टिंग जारी करेंगे. आज, दिन में 12 बजे वह स्टिंग जारी करेंगे. फिर उन्होंने स्टिंग जारी क्यों नहीं किया?’’ आप के वरिष्ठ नेता योगेंद्र यादव खरीद-फरोख्त के आरोपों के संदर्भ में पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल का बचाव करते नजर आए.
यादव ने कहा कि आप को बदनाम करने के लिए आम बातचीत को भी स्टिंग के तौर पर पेश किया जा रहा है.उन्होंने अपने फेसबुक पोस्ट में कहा, ‘‘एक घटना का इस्तेमाल पूरे आंदोलन को बदनाम करने के लिए किया जा रहा है. अब साधारण सी बातचीत को भी स्टिंग के तौर पर पेश किया जा रहा है. बिना कुछ प्रमाण के बडे आरोप लगाए जा रहे है. मीडिया इसे मजे लेकर परोस रहा है.’’