कांग्रेस में शामिल होते ही पूर्व राज्यपाल अजीज कुरैशी ने भाजपा पर साधा निशाना, बोले अखिलेश सरकार को हटाने का था दबाव
भोपाल : मिजोरम के राज्यपाल पद से हटाए जाने के बारह दिन बाद नाराज अजीज कुरैशी ने आज दावा किया है कि उन्हें उत्तराखण्ड की हरीश रावत और उत्तरप्रदेश की अखिलेश यादव सरकार को हटाने के लिए कहा गया था, जब वह उन प्रदेशों के राज्यपाल थे. मध्यप्रदेश कांग्रेस कमेटी मुख्यालय पर दोबारा पार्टी में […]
भोपाल : मिजोरम के राज्यपाल पद से हटाए जाने के बारह दिन बाद नाराज अजीज कुरैशी ने आज दावा किया है कि उन्हें उत्तराखण्ड की हरीश रावत और उत्तरप्रदेश की अखिलेश यादव सरकार को हटाने के लिए कहा गया था, जब वह उन प्रदेशों के राज्यपाल थे. मध्यप्रदेश कांग्रेस कमेटी मुख्यालय पर दोबारा पार्टी में शामिल होने आए कुरैशी ने आज यहां संवाददाताओं से बातचीत में कहा, जब मैं उत्तराखण्ड का राज्यपाल था, तब कुछ संदेशवाहकों ने हरीश रावत सरकार और जब मैं उत्तरप्रदेश का राज्यपाल था, तब अखिलेश यादव सरकार को हटाने को कहा था. उन्होने कहा, मुझे कहा गया था कि यदि मैने ऐसा कर दिया, तो मैं अपना कार्यकाल पूरा कर सकूंगा.
मुझे संदेशवाहकों के जरिए यह भी प्रस्ताव दिया गया था कि इसके बाद मुझे राज्यपाल का एक और कार्यकाल दिया जा सकता है. पूर्व राज्यपाल ने कहा, मैंने अपने कार्यकाल के दौरान कभी किसी के खिलाफ भेदभाव नहीं किया. जब उनसे पूछा गया कि यह संदेशवाहक कौन थे, तो उन्हांेने कहा कि ये राजनीतिज्ञ थे. उनका नाम पूछने पर उन्होने कहा, समय आने पर वह ये नाम भी उजागर करेंगे.
कुरैशी ने कहा, जब उत्तरप्रदेश के राज्यपाल रहते मैने विधानसभा द्वारा पारित एवं नौ साल से लंबित मौलाना मोहम्मद अली जौहर अल्पसंख्यक विश्वविद्यालय के एक विधेयक को मंजूरी दी, तो कुछ लोग मुझसे खुश नहीं थे. जौहर एक ख्यातिनाम स्वतंत्रता संग्राम सेनानी थे. यह मंजूरी भी मैने विधि विभाग और उत्तरप्रदेश के महाधिवक्ता से राय लेने के बाद दी थी. लेकिन इसके बाद मुझ पर कुछ लोगों ने साम्प्रदायिक होने के आरोप तक लगाए.