59 दिनों के चिंतन के बाद कितना बदल गये हैं राहुल गांधी?

59 दिनों की छुट्टी से लौटने के बाद रविवार को कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने केंद्र सरकार के खिलाफ मोर्चा खोला. जमीन अधिग्रहण विधेयक में संशोधन को लेकर रामलीला मैदान में आयोजित किसान और खेतिहर मजदूरों की रैली को संबोधित करते हुए राहुल गांधी का अंदाज कुछ बदला-बदला दिखा. जैसे कि पहले राहुल के भाषण […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 20, 2015 4:58 PM

59 दिनों की छुट्टी से लौटने के बाद रविवार को कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने केंद्र सरकार के खिलाफ मोर्चा खोला. जमीन अधिग्रहण विधेयक में संशोधन को लेकर रामलीला मैदान में आयोजित किसान और खेतिहर मजदूरों की रैली को संबोधित करते हुए राहुल गांधी का अंदाज कुछ बदला-बदला दिखा. जैसे कि पहले राहुल के भाषण को भाजपा टॉफी मॉडल कहती थी या फिर उसे हलके-फुलके रुप में लेती थी. वहीं कल के राहुल के भाषण के बाद भाजपा भी तिलमिलायी. 59 दिनों की छुट्टी के बाद लौटे राहुल गांधी और उसके पहले के राहुल गांधी में ऐसा क्या बदलाव दिखता है जानने की कोशिश करते हैं –


लोकसभा के पहले संबोधन में नरेंद्र मोदी पर करारा हमला

59 दिन के बाद लौटे राहुल गांधी कुछ आत्मविश्वास से भरे दिख रहे हैं. राहुल गांधी ने आजलोकसभा में नरेंद्र मोदी पर जोरदार हमला बोला. राहुल गांधी ने कहा कि नरेंद्र मोदी सरकार सूट बूट वालों की सरकार है. यह सरकार देश के 60 प्रतिशत किसानों के हितों की उपेक्षा कर रही है और यह उनको महंगी पडेगी.

किसान, मजदूर उत्साहित दिख रहे हैं राहुल को लेकर

राहुल गांधी ने 59 दिनों के बाद लौटते ही कहा कि वे किसानों के लिए राजनीति करेंगे. राहुल के इस आश्वासन पर किसानों का भरोसा दिख रहा है. भीड़ के संदर्भ में भी देखा जाय तो भीड राहुल के समर्थन में आगे आ रही है.

बयान टॉफी मॉडल या हल्की फुल्की अंदाज से उपर

पहले राहुल गांधी के बयान को भाजपा हल्के फुल्के अंदाज में लेती थी. उनके बयान को टॉफी मॉडल की संज्ञा दी जाती थी. लेकिन इस बार राहुल गांधी ने जिस तरह से मोदी सरकार पर हमला बोला कि भाजपा भी इस पर गंभीर हुई. यहां तक कि प्रधानमंत्री मोदी को उनके बयान पर प्रतिक्रिया देनी पडी. मोदी ने कहा कि हमारा बिल गरीब विरोधी नहीं बल्कि गरीबों के हित के लिए है.

राजनीतिक हमला किया पर निजी हमले से बचे

राहुल पहले अडाणी, अंबानी जैसे उद्योगपतियों का नाम लेकर मोदी पर हमले किया करते थे. इस बार भी उन्होंने मोदी पर हमले किये, लेकिन इस बार उनके हमले में गंभीरता दिखी. भाजपा ने भी उसे हलके अंदाज में नहीं लिया. इस बार मोदी ने स्वयं अंबानी का नाम लेते हुए कहा कि हमारी सरकार जो कर रही है उससे अंबानी को नहीं बल्कि किसानों को फायदा होगा.

जो भी 59 दिनों के चिंतन के बाद राहुल गांधी में ज्यादा नहीं तो कुछ आत्मविश्वास जरूर झलक रहा है. लेकिन इसमें वास्तविकता कितना है वह आने वाले चुनाव में ही पता चल पाएगा.

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