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भूकंप की अफवाहों पर नहीं पुख्ता सूचनाओं पर करें भरोसा

पटनाः नेपाल और भारत के अलग अलग इलाकों में आये भूकंप के बाद सोशल मीडिया पर अफवाहों का बाजार गर्म है. कुछ शरारती तत्व व्हाट्स एप पर ग्रुप बनाकर लोगों को मैसेज कर रहे है जिनमें भूकंप के अलग- अलग समय और ज्यादा तेजी से आने की अफवाह फैलायी जा रही है. बिहार और झारखंड […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 26, 2015 10:23 PM

पटनाः नेपाल और भारत के अलग अलग इलाकों में आये भूकंप के बाद सोशल मीडिया पर अफवाहों का बाजार गर्म है. कुछ शरारती तत्व व्हाट्स एप पर ग्रुप बनाकर लोगों को मैसेज कर रहे है जिनमें भूकंप के अलग- अलग समय और ज्यादा तेजी से आने की अफवाह फैलायी जा रही है. बिहार और झारखंड जैसे राज्यों में चांद के उल्टा दिखने की खबरें जोरों पर है. लोग घरों से बाहर आकर चांद देखकर हैं अपने परिजनों को फोन लगाकर इसकी जानकारी दे रहे हैं.

इतना ही नहीं व्हाट्सएप जैसे मैसेजिंग एप से नासा के नाम से भी भूकंप की अफवाहें फैलायी जा रही है. नासा ने इस तरह की अफवाहों को रोकने के उद्देश्य से बयान दिया कि उन्होंने भूकंप की कोई भविष्यवाणी नहीं की. इस तरह की अफवाहों को लेकर लोग खासे परेशान है. खासकर बिहार और झारखंड जैसे इलाकों मे यह मैसेज तेजी से फैल रहा है. सरकार के लिए इस तरह की अफवाहों पर लगाम लगाना चुनौती बना हुआ है.

सोशल साइट पर तरह तरह की अफवाहें फैलायी जा रही है जिसमें पानी के जहरीला होने, भूकंप से पूरी दुनिया के समाप्त हो जाने, प्रलय के संकेत या प्रलय आने जैसी अजीबोगरीब खबरें हैं. इस तरह की खबरें ज्यादा से ज्यादा लोगों तक पहुंचाने और शेयर करने के मैसेज के साथ आ रही है. भूकंप के बाद से ही तरह तरह के मैसेज लोगों के मोबाइल तक पहुंच रहे हैं जहां मौसम विभाग का हवाला देकर अफवाह फैलाने की सूचना है.
कल रात इसी तरह के एक मैसेज के वायरल होने के बाद बिहार पुलिस ने इस मैसेज पर मामला दर्ज किया. वाट्सएप के मैसेज के मुख्य केंद्र का जब पता लगाया गया तो इसमें अररिया के पूर्व विधायक का नाम सामने आया. उन्ही के मोबाइल से इस तरह की अफवाह फैलायी जा रही थी. प्राप्त जानकारी के अनुसार इस मामले में उनसे पूछताछ की गयी और उनकी गिरफ्तारी की भी सूचना है. गृह राज्य मंत्री किरण रिज्जू ने इस तरह की अफवाहों पर लगाम लगाने की अपील की है. कृप्या अफवाहों पर नहीं सूचनाओं पर ध्यान दें और सूचना के लिए रेडियो, प्रमाणिक टीवी चैनल और सरकारी वेबसाइट का रुख करें.

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