किसान आत्महत्या मामले का जमीन अधिग्रहण से कोई संबंध नहीं : वेंकैया नायडू

नयी दिल्ली: केंद्रीय मंत्री एम वेंकैया नायडू ने आज विपक्ष से किसान गजेंद्र सिंह के आत्महत्या करने की दुर्भाग्यपूर्ण घटना को जमीन अधिग्रहण के मुद्दे से नहीं जोडने का आह्वान किया. उन्होंने विपक्ष से हर मुद्दे का राजनीतिकरण नहीं करने की भी अपील की.जंतर मंतर पर आप की रैली में कथित रुप से आत्महत्या करने […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 27, 2015 5:03 PM

नयी दिल्ली: केंद्रीय मंत्री एम वेंकैया नायडू ने आज विपक्ष से किसान गजेंद्र सिंह के आत्महत्या करने की दुर्भाग्यपूर्ण घटना को जमीन अधिग्रहण के मुद्दे से नहीं जोडने का आह्वान किया. उन्होंने विपक्ष से हर मुद्दे का राजनीतिकरण नहीं करने की भी अपील की.जंतर मंतर पर आप की रैली में कथित रुप से आत्महत्या करने वाले राजस्थान के किसान गजेंद्र सिंह के मामले का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा, ‘‘कुछ लोगों ने इस मुद्दे का राजनीतिकरण करने की कोशिश की. यह (आत्महत्या) दुर्भाग्यपूर्ण घटना थी लेकिन इस मुद्दे और जमीन अधिग्रहण मुद्दे के बीच कोई संबंध नहीं है. क्योंकि उसका जमीन अधिग्रहण से कोई लेना देना नहीं है. ’’

संसदीय कार्य मंत्री ने एक कार्यक्रम के मौके पर कहा, ‘‘यह अलग कारणों से था. कुछ दल उसे जमीन अधिग्रहण मुद्दे से जोडने का प्रयास कर रहे हैं.’’ विपक्ष से लोगों का ध्यान असल मुद्दों से नहीं भटकाने का आह्वान करते हुए नायडू ने कहा, ‘‘पिछले दशक में दो लाख से अधिक किसानों ने आत्महत्या की. उस समय कौन देश चला रहा था. अतएव हर मुद्दे का राजनीतिकरण मत कीजिए और लोगों का ध्यान मत भटकाइए. यह विपक्ष से मेरा विनम्र अनुरोध है. ’’

नायडू ने कहा, ‘‘ (भूमि विधेयक को लेकर) सरकार की अनावश्यक आलोचना की गयी है. पिछले दस सालों में पिछली सरकार द्वारा दो लाख एकड से अधिक जमीन सेज एवं अन्य गतिविधियों के वास्ते अधिग्रहीत की गयी. इस पर उनका क्या जवाब होगा? हमारी सरकार ने कोई बडी जमीन नहीं ली है.’’ कांग्रेस और जयराम रमेश पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा, ‘‘वे कह रहे हैं कि 2013 का भूमि कानून बहुत प्रगतिशील है.

यदि वह इतना प्रगतिशील था तो लोगों ने उसके खिलाफ क्यों वोट दिया. जयराम रमेश कह रहे हैं कि राजग का भूमि विधेयक कांग्रेस के लिए संजीवनी का काम करेगा.’’ उन्होंने कहा, ‘‘आपके 2013 के विधेयक ने संजीवनी की तरह काम तो नहीं किया और आप बुरी तरह हार गए क्योंकि लोगों को आपकी ईमानदारी एवं कटिबद्धता पर संदेह था.

आपने अपना होमवर्क ठीक से नहीं किया और आपकी पार्टी के लोगों ने तत्कालीन प्रधानमंत्री को लिखा और सर्वदलीय बैठक में भी हिस्सा लिया एवं सुधार के सुझाव दिए. ’’ भूमि विधेयक का बचाव करते हुए संसदीय कार्य मंत्री ने कहा, ‘‘जमीन अधिग्रहण से ग्रामीण लोगों एवं किसान समुदाय को फायदा होने जा रहा है. हम किसी पर कुछ भी थोपने का प्रयास नहीं कर रहे हैं. हमारी सरकार किसानों के खिलाफ कुछ भी नहीं करेगी. ’’

Next Article

Exit mobile version