विवादित खुफिया इकाई पर दी गयी रिपोर्ट के कुछ पहलुओं पर जांच करा सकती है सरकार

नयी दिल्ली: केंद्र सरकार उस आधिकारिक जांच की रिपोर्ट की तफ्तीश कराने पर विचार कर रही है जिसने पूर्व थलसेनाध्यक्ष जनरल वी के सिंह द्वारा गठित एक विवादित खुफिया इकाई की गतिविधियों की पड़ताल की थी. सूत्रों ने यहां बताया कि सरकार जनरल वी के सिंह के कार्यकाल के दौरान स्थापित टेक्निकल सपोर्ट डिवीजन (टीएसडी) […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 25, 2013 11:05 PM

नयी दिल्ली: केंद्र सरकार उस आधिकारिक जांच की रिपोर्ट की तफ्तीश कराने पर विचार कर रही है जिसने पूर्व थलसेनाध्यक्ष जनरल वी के सिंह द्वारा गठित एक विवादित खुफिया इकाई की गतिविधियों की पड़ताल की थी.

सूत्रों ने यहां बताया कि सरकार जनरल वी के सिंह के कार्यकाल के दौरान स्थापित टेक्निकल सपोर्ट डिवीजन (टीएसडी) पर एक लेफ्टिनेंट जनरल द्वारा दी गयी थलसेना की एक अंदरुनी जांच रिपोर्ट के कुछ पहलुओं की तफ्तीश कराने पर विचार कर रही है. उन्होंने बताया कि पिछले तीन-चार दिनों में दो उच्च-स्तरीय बैठकें हो चुकी हैं जिसमें राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार और रक्षा मंत्रलय एवं खुफिया एजेंसियों के प्रतिनिधि इस मुद्दे पर चर्चा करने के लिए मौजूद थे.

सूत्रों ने बताया कि प्रस्तावित जांच गृह मंत्रालय के मातहत आने वाली किसी एजेंसी से करायी जा सकती है. टीएसडी पर ‘ ‘ अनधिकृत अभियान’ ‘संचालित करने और ‘ ‘ वित्तीय गड़बड़ियों’ ‘के आरोप लगते रहे हैं. जनरल वी के सिंह ने अपने खिलाफ लगाए गए सभी आरोपों से इंकार किया है. उन्होंने कहा था कि थलसेना राज्य में स्थिरता लाने के लिए कुछ मंत्रियों को पैसे देती रही है.

हालांकि, बाद में अपने बयान पर सफाई देते हुए उन्होंने कहा कि मंत्रियों को रिश्वत के तौर पर पैसे नहीं दिए जाते थे बल्कि थलसेना के ‘ ऑपरेशन सद्भावना’ के तहत नागरिक कार्यों के लिए पैसे दिए जाते थे. थलसेना का कहना है कि उसने ‘ ऑपरेशन सद्भावना’ पर पिछले तीन सालों में 104 करोड़ रुपए खर्च किए हैं. टीएसडी पर जम्मू-कश्मीर सरकार को अस्थिर करने वाली गतिविधियों में भी शामिल होने का आरोप लगा है.

Next Article

Exit mobile version