पाक उच्चायोग ने ईद मिलन समारोह के लिए कश्मीरी अलगाववादी नेताओं को आमंत्रित किया

नयी दिल्ली : पाकिस्तानी उच्चायोग ने 21 जुलाई को यहां उच्चायोग में आयोजित ईद मिलन समारोह में कश्मीर के अलगाववादी नेताओं को भी आमंत्रित किया है.पाकिस्तान के उच्चायुक्त अब्दुल बासित ने अलगाववादी नेताओं को आमंत्रित करने का बचाव करते हुए इसमें कुछ भी असामान्य नहीं बताया और कहा कि पाकिस्तान जम्मू-कश्मीर के लोगों के स्वनिर्णय […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 13, 2015 10:45 PM

नयी दिल्ली : पाकिस्तानी उच्चायोग ने 21 जुलाई को यहां उच्चायोग में आयोजित ईद मिलन समारोह में कश्मीर के अलगाववादी नेताओं को भी आमंत्रित किया है.पाकिस्तान के उच्चायुक्त अब्दुल बासित ने अलगाववादी नेताओं को आमंत्रित करने का बचाव करते हुए इसमें कुछ भी असामान्य नहीं बताया और कहा कि पाकिस्तान जम्मू-कश्मीर के लोगों के स्वनिर्णय के अधिकार के लिए वैध लडाई का पूरी तरह नैतिक, राजनीतिक और कूटनीतिक समर्थन करता रहेगा.

पिछले वर्ष अगस्त में भारत ने पाकिस्तान के उच्चायुक्त अब्दुल बासित द्वारा कश्मीर के अलगाववादी नेताओं को विचार-विमर्श के लिए बुलाने पर कडी प्रतिक्रिया जताते हुए विदेश सचिवों की वार्ता को स्थगित कर दिया था.इससे पहले उच्चायोग ने चार जुलाई को रात्रि भोज आयोजित करने का कार्यक्रम बनाया था लेकिन बाद में इसे स्थगित कर 21 जुलाई कर दिया गया.पाकिस्तानी अधिकारियों ने कहा कि कराची में कुछ मौतों के कारण इसे स्थगित किया गया है लेकिन इस कदम को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और नवाज शरीफ के बीच रूस के उफा में वार्ता से पहले कडवाहट को टालने के तौर पर देखा गया.

अलगाववादी नेताओं को आमंत्रित करने के बारे में पूछने पर बासित ने कहा, हुर्रियत नेताओं को निमंत्रित करने में कुछ भी असामान्य नहीं है. अगर कोई इसे तूल देता है तो यह दुर्भाग्यूपूर्ण है. उन्होंने कहा, संयुक्त राष्ट्र चार्टर और यूनिवर्सल डिक्लेरेशन ऑफ ह्यूमन राइट्स के प्रावधान के तहत जम्मू-कश्मीर के लोगों के आत्मनिर्धारण की वैध लडाई में पाकिस्तान उनको पूरा नैतिक, राजनीतिक और कूटनीतिक समर्थन देता रहेगा.

रूस के उफा शहर में शंघाई कोऑपरेशन ऑर्गेनाइजेशन शिखर सम्मेलन से इतर मोदी और शरीफ ने द्विपक्षीय बैठक की थी जिसमें उन्होंने वार्ता प्रक्रिया को बहाल करने और मुंबई हमले के मामले में सुनवाई तेज करने का निर्णय किया था.

बहरहाल इससे पलटते हुए पाकिस्तान ने मुंबई आतंकवादी हमला मामले में भारत से और साक्ष्य एवं सूचना मांगी है और कहा कि एजेंडा में कश्मीर को शामिल किए बगैर वार्ता नहीं हो सकती.अपने रूख से पलटते हुए पाकिस्तान के प्रधानमंत्री के राष्ट्रीय सुरक्षा और विदेशी मामलों के सलाहकार अब्दुल सरताज अजीज ने स्पष्ट किया कि जब तक एजेंडा में कश्मीर को शामिल नहीं किया जाता है तब तक भारत के साथ कोई वार्ता नहीं होगी.

Next Article

Exit mobile version