वकील ने जब दाऊद का प्रस्ताव यूपीए सरकार के सामने रखा था. उस वक्त कांग्रेस के दो बड़े नेताओं ने इसे ‘हॉट पोटेटो’ कहते हुए इस मामले से दूर रहने की सलाह सरकार को दी थी.
इस खबर पर प्रतिक्रिया देते हुए पूर्व प्रधानमंत्री मनमेहन सिंह ने कहा कि मेरे पीएम रहते ऐसे मुद्दे पर कुछ चर्चा नहीं हुई है.
आपको बता दें कि 12 मार्च 1993 को मुंबई में सिलसिलेवार 12 जगहों पर हुए धमाकों में 257 लोग मारे गए थे जबकि 713 लोग घायल हुए थे. बॉम्बे स्टॉक एक्सेंज की 28-मंज़िला इमारत की बेसमेंट में भी धमाका किया गया था. इस मामले में 30 जुलाई को पहली फांसी याकूब मेमन को दी गयी.
गौरतलब कि केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार लगातार कह रही है कि डॉन दाऊद पाकिस्तान में है और उसे वापस लाने के लिए भारत प्रतिबद्ध है जबकि पाकिस्तान इस बात से इंकार करता आया है.