श्रीनगर : जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारुक अब्दुल्ला ने हाल में रसोई गैस सब्सिडी के लिए आवेदन किया है जिसके कारण वह विवादों में हैं तथा इसको लेकर उनके विरोधियों ने उनकी आलोचना की है. मुख्य विपक्षी दल नेशनल कांफ्रेंस के अध्यक्ष अब्दुल्ला ने दुर्गा नाग में सुपर गैस सर्विस को गैर आधार कार्ड आधारित एलपीजी सब्सिडी स्थानांतरण का एक फार्म इस साल 14 अगस्त को जमा करवाया था. एचपी गैस की इस वितरक कंपनी के एक अधिकारी ने यह जानकारी दी है. पिछले साल लोकसभा चुनाव में उन्होंने 10 लाख रुपये से अधिक की सालाना आय तथा 13 करोड रुपये से अधिक की संपत्ति घोषित की थी.
हालांकि वह चुनाव हार गये थे और उन्हें अपने 35 साल के राजनीतिक जीवन में पहली बार चुनावी हार का सामना करना पडा था. इस मुद्दे पर अब्दुल्ला से प्रतिक्रिया हासिल करने के प्रयास सफल नहीं हो सके क्योंकि उनके स्टाफ ने बताया कि वह एक बैठक में व्यस्त हैं. सत्तारुढ पीडीपी के प्रवक्ता वहीदुर्र रहमान पारा ने उनकी ‘बडी संपत्ति’ होने के बावजूद एलपीजी सब्सिडी मांगने के लिए अब्दुल्ला की आलोचना की.
पारा ने कहा, ‘वह (अब्दुल्ला) समझते हैं कि वह एक शहजादे हैं. उनके परिवार ने काफी संपत्ति जमा की है फिर भी वह सब्सिडी मांग रहे हैं. यदि वह इतने गरीब हैं तो हम उन्हें छह साल के लिए निशुल्क गैस आपूर्ति की पेशकश करते हैं.’ प्रधानमंत्री कई माह से इस बात की अपील कर रहे हैं कि संपन्न लोगों को रसोई गैस सब्सिडी छोड देनी चाहिए ताकि इसका लाभ जरुरतमंद लोगों तक पहुंचाया जा सके. इस अपील पर पहले प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए अब्दुल्ला ने जुलाई में कहा था कि इसे सांसदों की अंतरात्मा पर छोड देना चाहिए कि क्या वह रसोई गैस साब्सिडी लेना चाहते हैं या नहीं.