बडा सवाल : मुंबई धमाके में 13 पाकिस्तानियों व चार घर में पले दुश्मनों पर आखिर कब होगी कार्रवाई?
मुंबई :मुंबई की लोकल ट्रेन में 2006 में हुए सीरियल ट्रेन बम धमाकों के नौ साल बाद कोर्ट ने फैसला सुनाया. मकोका कोर्ट के इस फैसले में 13 आरोपियों में 12 लोगों को गुनाहगार करार दिया. इसमें एक आरोपी को बरी कर दिया गया. नौ सालबादआये इस फैसले के बाद एक बार फिर मुंबई धमाकों […]
By Prabhat Khabar Digital Desk |
September 11, 2015 5:16 PM
मुंबई :मुंबई की लोकल ट्रेन में 2006 में हुए सीरियल ट्रेन बम धमाकों के नौ साल बाद कोर्ट ने फैसला सुनाया. मकोका कोर्ट के इस फैसले में 13 आरोपियों में 12 लोगों को गुनाहगार करार दिया. इसमें एक आरोपी को बरी कर दिया गया. नौ सालबादआये इस फैसले के बाद एक बार फिर मुंबई धमाकों की याद ताजा हो गयी. आजाद भारत के अब तक के सबसे बड़े आतंकी घटनाओं में से एक मुंबई बम धमाकानेहजारों परिवार को तबाह कर दिया था.इस मामले में कुल 30 लोग पर आरोप है. जिसमें 17 भारतीय व 13 पाकिस्तानी हैं. अबतक जहां 17 में चार भारतीय दोषी की गिरफ्तारी नहीं हो सकी है, वहीं पाकिस्तानियों के खिलाफ भी कुछ ठोस कार्रवाई नहीं हो सकी है. ऐसे में बडा सवाल यह है कि उन 13 पाकिस्तानियों व चार देश में पले-बढे देश के दुश्मनों की सजा कैसे तय होगी.
आइए जानते हैं मुंबई धमाकों से जुड़े दस तथ्य के बारे में.
1. 11 जुलाई 2006 को मुंबई में 7 सिलसिलेवार धमाका हुए . इस हमले में 188 लोग मारे गये थे और 824 लोग घायल हुए थे.
2. ब्लास्ट शाम 6 बजकर 24 मिनट में हुई जो 11 मिनट तक लगातार चलती रही. हमले का वक्त शाम को चुना गया क्योंकि आमतौर पर शाम को ही मुंबई के लोकल ट्रेन में लाखों लोग दफ्तर से घर वापस आते है.
3. विस्फोट खार -रोड सांताक्रूज, जोगेश्वरी-माहिम जंक्शन,मीरा रोड-भयंदर, माटुंगा -माहिम और बोरेवाली जंक्शन के बीच हुई. हमले प्रेशर कुकर बम से किये गये थे. हमले में आरडीएक्स का इस्तेमाल किया गया.
4. एंटी टेरर स्कवैड ने इस घटना में 30 आरोपी सामने आये, जिसमें से 13 की पहचान पाकिस्तानी नागरिक के रूप में हुई, जबकि बाकी 17 की पहचान भारतीय नागरिक के रूप में हुई .इस मामले में चार दोषी भारतीयों की गिरफ्तारी अब तक नहीं हो सकी है. जबकि 13 पाकिस्तानी नागरिकों के खिलाफ भी कार्रवाई नहीं हो सकी है.
5. सुनवाई के दौरान 5,500 पन्नों के प्रत्यक्षदर्शियों का बयान दर्ज किया गया. 19 अगस्त 2014 को सुनवाई पूरी हुई. 11 सितम्बर 2015 को 12 आरोपियों को दोषी करार दिया गया, जबकि 1 आरोपी को बरी कर दिया गया.
5. सभी हमलावार आतंकी संगठन ‘सिमी’ से जुड़े हुए थे.
6. इस हमले में एहतेशाम सिद्दीकी, कमाल अंसारी, फैजल शेख, तनवीर अहमद अंसारी, मोहम्मद माजिद शफी, शेख आलम शेख, मोहम्मद साजिद अंसारी, मुजम्मिल शेख, सोहेल महमूद शेख, जमीर अहमद शेख, नवेद हुसैन खान, आसिफ खान को दोषी करार दिया गया.
7. मुंबई धमाके के सुनवाई होने में 9 साल लग गये. सरकारी वकील ने 192 गवाह को पेश किया जबकि बचाव पक्ष की ओर से 51 गवाहों को पेश किया गया.
8.एटीएस के मुताबिक मुंबई बम धमाका का खास मकसद गुजरात दंगे का बदला लेना और खास कम्युनिटी को निशाना बनाना था.
9. विशेष मकोका न्यायधीश यतीन डी शिंदे ने पिछले 19 अगस्त को मुंबई धमाके से जुड़े मुकदमे का सुनवाई पूरा किया.
10. इस केस के सुनवाई के दौरान काफी उतार-चढ़ाव आये. वर्ष 2008 में सुप्रीम कोर्ट ने ट्रायल में रोक लगा दी थी. लेकिन फिर उच्चतम न्यायलय ने 23 अप्रैल 2010 को स्थागनादेश हटा दिया.