नेपाल की अंशाति पर भारत की अपील, विश्वसनीय एवं प्रभावी”” ढंग से निकाले हल

नयी दिल्ली: संविधान विरोधी प्रदर्शनों के चलते नेपाल में जारी अशांति के बीच भारत ने आज कहा कि मुद्दे की प्रकृति राजनीतिक है और काठमांडो को अंतर्निहित मुद्दों का समाधान ‘‘विश्वसनीय एवं प्रभावी” ढंग से निकालना चाहिए. नयी दिल्ली ने उम्मीद जताई कि मतभेदों को जल्द से जल्द सुलझा लिया जाएगा. विदेश मंत्रालय में प्रवक्ता […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 25, 2015 4:33 PM
नयी दिल्ली: संविधान विरोधी प्रदर्शनों के चलते नेपाल में जारी अशांति के बीच भारत ने आज कहा कि मुद्दे की प्रकृति राजनीतिक है और काठमांडो को अंतर्निहित मुद्दों का समाधान ‘‘विश्वसनीय एवं प्रभावी” ढंग से निकालना चाहिए.
नयी दिल्ली ने उम्मीद जताई कि मतभेदों को जल्द से जल्द सुलझा लिया जाएगा. विदेश मंत्रालय में प्रवक्ता ने कहा, ‘‘हमने भारत-नेपाल सीमा पर विभिन्न प्रवेश-निकास बिन्दुओं पर बाधाएं उत्पन्न किए जाने की खबरें देखी हैं. इस तरह की बाधाएं नेपाल की तरफ उनकी आबादी के एक तबके की ओर से हो रही अशांति और प्रदर्शनों की वजह से हैं.” उन्होंने कहा, ‘‘हम दोहराना चाहेंगे कि नेपाल के समक्ष खडे मुद्दे प्रकृति में राजनीतिक हैं.
नेपाली नेतृत्व को टकराव की वर्तमान स्थिति के अंतर्निहित मुद्दों का विश्वसनीय एवं प्रभावी ढंग से समाधान निकालना चाहिए. मतभेदों के मुद्दों का व्यापक स्वामित्व एवं स्वीकृति आधार के साथ समाधान होना चाहिए.” नेपाल में हाल में लागू हुए संविधान के खिलाफ वहां हिमालय की तलहटी में बसे तराई क्षेत्र में रहने वाले भारतीय मूल के मधेसी लोगों की ओर से हिंसक विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं.दक्षिणी एवं पश्चिमी नेपाल में 40 से अधिक लोग मारे जा चुके हैं जहां मधेसी दल और थारु जातीय समूह देश को सात प्रांतों में बांटे जाने के खिलाफ एक महीने से अधिक समय से विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं.
अशांति की वजह से नेपाल के कई हिस्सों में चीनी, नमक, भोजन सामग्री एवं रसोई गैस जैसी आवश्यक चीजों की किल्लत हो गई है. इस हफ्ते के शुरु में, मंत्रालय ने यह कहते हुए बयान जारी किया था कि भारत के माल की ढुलाई करने वालों और ट्रांसपोर्टरों ने अशांति के चलते नेपाल में अपने सामने आ रही कठिनाइयों और सुरक्षा चिंताओं को लेकर शिकायत की है.
भारत अपनी सीमा से लगते नेपाली हिस्सों में जारी हिंसा को लेकर अपनी चिंताएं व्यक्त करता रहा है.‘‘संविधान लागू होने के बाद भारत की सीमा से लगते नेपाली क्षेत्रों में मौत और लोगों के घायल होने का पर्याय बन रही हिंसा की घटनाओं को लेकर हम गंभीर रुप से चिंतित हैं.
विदेश मंत्रालय ने एक बयान में कहा था, ‘‘हमने बार-बार नेपाल के राजनीतिक नेतृत्व से इन क्षेत्रों में तनाव खत्म करने के लिए तत्काल कदम उठाने का आग्रह किया था. यदि, यह समय से हो गया होता तो इन गंभीर घटनाक्रमों से बचा जा सकता था.” नेपाल के प्रधानमंत्री सुशील कोइराला ने देश में जारी अशांति के चलते अपना न्यूयॉर्क दौरा रद्द कर दिया है जहां उन्हें संयुक्त राष्ट्र महासभा की बैठक में शामिल होना था. उन्हें 18 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल के साथ बुधवार की शाम न्यूयॉर्क के लिए उडान भरनी थी.

Next Article

Exit mobile version