एक स्वामी के सपने से सरकार जगी, दूसरे स्वामी की बात से जूं तक नहीं रेंगी :संघ
नयी दिल्ली: राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने उत्तर प्रदेश के उन्नाव जिले के डौंडिया खेड़ा में एक स्वामी के सपने के आधार पर सरकार द्वारा गड़ा खजाना खोदने की कवायद पर चुटकी लेते हुए कहा कि एक अन्य भगवाधारी स्विटजरलैंड के बैंकों में देश के नामचीन लोगों के खरबों रुपयों के ‘गड़े’ धन को निकाल लाने […]
नयी दिल्ली: राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने उत्तर प्रदेश के उन्नाव जिले के डौंडिया खेड़ा में एक स्वामी के सपने के आधार पर सरकार द्वारा गड़ा खजाना खोदने की कवायद पर चुटकी लेते हुए कहा कि एक अन्य भगवाधारी स्विटजरलैंड के बैंकों में देश के नामचीन लोगों के खरबों रुपयों के ‘गड़े’ धन को निकाल लाने की 2011 से गुहार लगा रहे हैं लेकिन सरकार के कान पर जूं नहीं रेंग रही है.
संघ के मुखपत्र पांचजन्य के नए अंक के संपाद्कीय में कहा गया, ‘‘फैसले ना लेने के लिए कुख्यात और उस पर भी ‘सेकुलर’ सरकार यदि किसी भगवा संन्यासी :स्वामी शोभन सरकार: के सपने से जाग कर एकाएक फुर्ती में आ जाए तो इससे ज्यादा कमाल की बात क्या होगी.’’ इसमें कहा गया, ‘‘मगर सवाल यह है कि शोभन सरकार अकेले स्वामी नहीं और उन्नाव का यह खजाना भारत का अकेला गड़ा धन नहीं है. भगवा वस्त्रधारी स्वामी रामदेव 2011 से खरबों रुपयों के उस भारतीय खजाने का पता बता रहे हैं जो नामचीन लोगों ने स्विटजरलैंड के बैंको में गाड़ रखा है.
इस खजाने को खोदने में स्पष्ट तौर पर भ्रष्टचारी व्यवस्था की नींव हिलती है इसलिए सरकार तब तक हरकत में आती नहीं दिखती जब तक कि खाते खाली ना हो जाएं और तथ्यों की बात सपना ना लगने लगे.’’मुखपत्र के अनुसार, कालेधन के मुद्दे पर विपक्षी हमले हो तो श्वेतपत्र की कुदाली चलेगी और डौंडिया खेड़ा के लिए आप जीपीआरएस से लेकर जेसीबी तक लेकर दौड़ जाएंगे, यह खेल लंबा नहीं चलेगा, यह बात सरकार को समझनी चाहिए.