नयी दिल्ली : भारतीय जनता पार्टी के संसदीय दल की बैठक समाप्त हो गयी है. ऐसा माना जा रहा है कि इस बैठक में हार के कारणों पर चर्चा हुई.बैठक के बाद वित्त मंत्री अरुण जेटली ने प्रेस कांफ्रेस करते हुए कहा किहम बिहार की जनता के जनादेश को स्वीकार करते हैं और उम्मीद करते हैं कि नई सरकार राज्य की प्रगति के लिए काम करेगी. बिहार में हम विपक्ष की भूमिका निभायेंगें. यह पूछे जाने पर कि क्या संघप्रमुख भागवत के बयान का असर चुनावों पर पड़ा ? उन्होंने जवाब देते हुए कहा किकोई चुनाव एक बयान के ऊपर तय नहीं होता, चुनाव का अपना गणित अलग होता है.उन्होंने कहा कि हमने सामाजिक संरचना के आधार पर मिले आरक्षण को स्वीकारा है और आरएसएस भी इसे मानता है, भ्रांति की कोई वजह नहीं है.
विशेष पैकेज के बारे में जिक्र करते हुए अरुण जेटली ने मीडिया को बताया कि बिहार को भारत सरकार की तरफ से पैकेज दिया जाता है, केंद्र-राज्य का संबंध किसी भी संघीय राष्ट्र में बेहद जिम्मेदार होता है. यह सवाल पूछे जाने पर कि क्या शत्रुघ्न सिन्हा पर कोई कार्रवाई होगी . उन्होंने कहा कि बैठक में किसी कार्रवाई की चर्चा नहीं हुई.
बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी,अमित शाह,अरुण जेटली, शिवराज सिंह चौहान, नितिन गडकरी, वैंकया नायडू, सुषमा स्वराज और राजनाथ सिंह शामिल हुए .गौरतलब है कि कल आये बिहार विधानसभा चुनाव के परिणामों के बाद भाजपा में खलबली मच गयी है. हार के कई कारण गिनाये जा रहे है. हार के कारणों में भागवत के आरक्षण संबंधी बयान को भी काफी अहम माना जा रहा है. विपक्षी दलों का आरोप है कि देश के इतिहास में पहली बार किसी प्रधानमंत्री ने राज्य के चुनाव में बढ़-चढ़ कर भागिदारी निभायी. उसके बाद भी उन्हें करारी हार मिली.