योजना आयोग को खत्म करना भारत के लिए नुकसानदेह : मनमोहन सिंह
नयी दिल्ली : पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने आज कहा कि मोदी सरकार द्वारा योजना आयोग को खत्म किए जाने का फैसला करने के बाद देश की आर्थिक नीति ‘‘दिशाहीन” हो गयी है. सिंह ने इस ‘‘दुर्भावनापूर्ण” दुष्प्रचार को भी खारिज किया कि पिछली कांग्रेस सरकार के शासनकाल में कोई विकास कार्य नहीं हुआ. उन्होंने […]
नयी दिल्ली : पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने आज कहा कि मोदी सरकार द्वारा योजना आयोग को खत्म किए जाने का फैसला करने के बाद देश की आर्थिक नीति ‘‘दिशाहीन” हो गयी है. सिंह ने इस ‘‘दुर्भावनापूर्ण” दुष्प्रचार को भी खारिज किया कि पिछली कांग्रेस सरकार के शासनकाल में कोई विकास कार्य नहीं हुआ.
उन्होंने कहा, ‘‘ आर्थिक नीति दिशाहीन हो गयी है और ऐसा मुख्य रुप से योजना आयोग :को खत्म किए जाने :के कारण हुआ अपनी सभी खामियों के बावजूद वह देश की अर्थव्यवस्था को संचालित करने का सकारात्मक गतिशील उपकरण था.” वह यहां पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय इंदिरा गांधी की 98वीं जयंती के अवसर पर भारतीय युवक कांग्रेस द्वारा आयोजित एक राष्ट्रीय सम्मेलन के उद्घाटन के मौके पर बोल रहे थे. सिंह ने अपने पार्टी कार्यकर्ताओं से कहा कि वे लोगों को बताएं कि किस प्रकार योजना आयोग को समाप्त करने का फैसला देश के लिए ‘‘नुकसानदायक” रहा है.
वरिष्ठ कांग्रेसी नेता ने कहा कि जिस प्रकार इंदिरा गांधी ने जवाहरलाल के योजनाबद्ध विकास के रास्ते को चुना , उन्होंने हमेशा भारत जैसे विविधतापूर्ण देश के लिए योजना आयोग की जरुरत पर बल दिया. हरित क्रांति और बांग्लादेश के जन्म समेत विभिन्न क्षेत्रों में उनके योगदान को याद करते हुए मनमोहन सिंह ने कहा कि मजबूत दूरदृष्टि तथा प्रतिबद्धता के साथ इंदिरा गांधी का मानना था कि देश के विभिन्न हिस्सों की विकास जरुरतों के समाधान के लिए योजना आयोग जैसी इकाई जरुरी है.
जवाहरलाल नेहरु और इंदिरा गांधी के शासनकाल सहित कांग्रेस सरकारों के शासन काल में देश के विकास के लिए कुछ नहीं किए जाने को सिंह ने ‘‘दुर्भावनापूर्ण ” दुष्प्रचार करार दिया. पूर्व प्रधानमंत्री ने आने वाले समय में कई राज्यों के विधानसभा चुनाव और 2019 के लोकसभा चुनाव के मद्देनजर युवक कांग्रेस और सेवा दल से एकजुट होकर लोगों के बीच जाकर काम करने को कहा.