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जेएनयू विवाद : राजनाथ सिंह ने कहा, प्रदर्शन को हाफिज सईद का समर्थन

इलाहाबाद : केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने आज दावा किया कि जेएनयू विवाद को लश्कर-ए-तैयबा के संस्थापक हाफिज सईद का समर्थन प्राप्त था और देश को यह बात समझनी चाहिए. उन्होंने राजनीतिक पार्टियों से यह भी कहा कि वह ऐसे प्रदर्शनों को राजनीतिक नफे-नुकसान के चश्मे से न देखें. राजनाथ ने कहा, ‘‘जेएनयू की […]

इलाहाबाद : केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने आज दावा किया कि जेएनयू विवाद को लश्कर-ए-तैयबा के संस्थापक हाफिज सईद का समर्थन प्राप्त था और देश को यह बात समझनी चाहिए. उन्होंने राजनीतिक पार्टियों से यह भी कहा कि वह ऐसे प्रदर्शनों को राजनीतिक नफे-नुकसान के चश्मे से न देखें.

राजनाथ ने कहा, ‘‘जेएनयू की घटना को हाफिज सईद का समर्थन मिला है. यह ऐसा सच है जिसे देश को समझना चाहिए. जो कुछ हुआ है, वह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है.’ गृह मंत्री ने यहां पत्रकारों को बताया, ‘‘ऐसा कुछ नहीं किया जाना चाहिए जिससे देश की संप्रभुता और अखंडता पर सवालिया निशान लगे. ऐसे मौकों पर पूरे देश को एक सुर में बोलना चाहिए. मैं सभी राजनीतिक पार्टियों से अपील करुंगा कि वे ऐसे मामलों को राजनीतिक नफे-नुकसान के चश्मे से न देखें.’

जेएनयू की घटना की जांच के बारे में पूछे जाने पर राजनाथ ने कहा, ‘‘(संबंधित अधिकारियों को) जरुरी निर्देश दे दिए गए हैं. मैंने एक चीज साफ कर दिया है कि दोषी पाए जाने वालों पर कार्रवाई होनी चाहिए. लेकिन जो दोषी नहीं हैं, उन्हें किसी भी कीमत पर परेशान नहीं करना चाहिए.’ जेएनयू छात्र संघ अध्यक्ष कन्हैया कुमार की गिरफ्तारी और उसे फंसाए जाने के आरोपों पर गृह मंत्री ने कहा, ‘‘हमें बिना किसी बाधा के जांच चलने देनी चाहिए.

पुलिस ने किसी सबूत के आधार पर ही कार्रवाई की होगी.’ राजनाथ ने यह बयान ऐसे समय में दिया है जब कथित तौर पर सईद की ओर से कुछ ट्वीट किए गए और पाकिस्तानियों से अपील की गई कि वे जेएनयू के प्रदर्शन का समर्थन करें. पुलिस इस बात की जांच कर रही है कि क्या वे ट्वीट वाकई सईद की ओर से किए गए थे.

बाद में दिल्ली पुलिस ने पुलिस आयुक्त कार्यालय के आधिकारिक ट्विटर खाते से एक अलर्ट जारी कर कहा था, ‘‘यह जेएनयू और देश भर के छात्र समुदाय को सतर्क और जागरुक करने के लिए है. ऐसे देशद्रोही जुमलेबाजी के बहकावे में न आएं. किसी तरह की देशद्रोही गतिविधि के लिए उकसाना एक दंडनीय अपराध है.’

अपने अलर्ट में दिल्ली पुलिस ने सईद के नाम वाले ट्विटर अकाउंट का भी जिक्र किया था, जिसमें कहा गया था, ‘‘हम अपने पाकिस्तानी भाइयों से अनुरोध करते हैं कि वे पाकिस्तान का समर्थन करने वाले जेएनयू के हमारे भाइयों के समर्थन में जोरशोर से ट्वीट करें.’ गृह मंत्री पश्चिम बंगाल के राज्यपाल केसरी नाथ त्रिपाठी से मिलने और उनकी पत्नी की मृत्यु पर शोक जताने के लिए यहां आए हैं. त्रिपाठी की पत्नी का निधन करीब एक पखवाडे पहले नई दिल्ली के एम्स में इलाज कराने के दौरान हुआ था.

सिंह ने कहा, ‘‘जो भी देश की एकता, अखंडता और संप्रभुता को निशाना बनाएगा या देश के सम्मान को ठेस पहुंचाएगा, उसे कतई माफ नहीं किया जाएगा.’ बाद में राजनाथ ने ट्वीट किया, ‘‘मैं सभी संगठनों और राजनीतिक पार्टियों से अपील करता हूं कि वे देश की एकता, संप्रभुता एवं अखंडता से जुडे मुद्दों पर एकजुट रहें.’

गृह मंत्री ने कहा, ‘‘भारत विरोधी गतिविधियों या दुष्प्रचार में शामिल लोगों को बख्शा नहीं जाएगा और निर्दोषों को परेशान नहीं किया जाएगा.’ उन्होंने यह भी ट्वीट किया, ‘‘मैं सभी राजनीतिक पार्टियों और सभी क्षेत्र के लोगों से अपील करता हूं कि वे देशद्रोही ताकतों के खिलाफ लडाई में हाथ मिलाएं.’

गौरतलब है कि बीते नौ फरवरी को जेएनयू परिसर में संसद पर हमले के दोषी अफजल गुरु की फांसी के विरोध में आयोजित कार्यक्रम के बाद कुछ लोगों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई थी. इसके बाद जेएनयू छात्र संघ के अध्यक्ष कन्हैया कुमार को देशद्रोह के आरोप में गिरफ्तार कर लिया गया था.

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