नयी दिल्ली: यमुना के जल ग्रहण क्षेत्र में आध्यात्मिक गुरु श्री श्री रविशंकर के आर्ट ऑफ लिविंग द्वारा शुक्रवार से आयोजित होने वाले तीन दिवसीय संस्कृति महोत्सव के आयोजन को लेकर पर्यावरण संबंधी चिंताओं के चलते कुछ विवाद उत्पन्न होने के बाद अब राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने इसमें हिस्सा नहीं लेने का फैसला किया है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का शुक्रवार को समारोह का उद्घाटन करने का कार्यक्रम है और पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार राष्ट्रपति को रविवार को इसके समापन समारोह में भाग लेना था.राष्ट्रपति भवन के एक अधिकारी ने आज यहां बताया, ‘‘कुछ अपरिहार्य कारणों से राष्ट्रपति इस समारोह में हिस्सा नहीं ले पायेंगे.” कुछ पर्यावरण कार्यकर्ताओं ने राष्ट्रीय हरित अधिकरण में याचिका दाखिल कर आयोजन पर रोक लगाने की मांग की है. उनका दावा है कि इससे यमुना के जलग्रहण क्षेत्र पर गहरा असर पड सकता है. इसके बाद से आयोजन को लेकर काफी आलोचनाएं हो रहीं हैं.
अधिकरण इस संबंध में अपना निर्णय कल सुना सकता है. आयोजकों को इस समारोह में 35 लाख लोगों के हिस्सा लेने की उम्मीद है. हालांकि विशेषज्ञों ने यमुना के जल ग्रहण क्षेत्र में इसके आयोजन के कारण पर्यावरण को होने वाले संभावित नुकसान को लेकर चिंता व्यक्त की है. पूर्वी दिल्ली में यमुना नदी पहले से ही प्रदूषित है.