नयी दिल्ली : एक न्यूज पोर्टल के स्टिंग ऑपरेशन में तृणमूल कांग्रेस के कई प्रमुख नेताओं के रुपये लेते दिखाये जाने का मामला आज भी सदन में उठा. इस मुद्दे को आज राज्यसभा में सीपीएम के सदस्यों ने उठाया और तृणमूल नेताओं के खिलाफ कार्रवाई की मांग की. सीताराम येचुरी ने इस मामले में जांच की मांग की है. इस स्टिंग ऑपरेशन पर टीएमसी नेता डेरेक ओ ब्रायन ने कहा कि टेप से छेड़छाड़ की गई है. इस वीडियो को बनाने में विदेशी फंड का इस्तेमाल किया गया है. स्टिंग ऑपरेशन के लिए फंड दुबई से आया है.
लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजनने तृणमूल कांग्रेस के सांसदों द्वारा कथित तौर पर रिश्वत लेने के मामले को एथिक्स कमेटी के पास भेज दिया है.
आपको बता दें कि तृणमूल कांग्रेस के कुछ नेताओं को कथित तौर पर एक फर्जी निजी कंपनी की मदद के लिए घूस लेते हुए दिखाये गये एक स्टिंग ऑपरेशन के प्रसारण के बाद भाजपा, कांग्रेस और माकपा के सदस्यों ने इस मुद्दे को मंगलवार को लोकसभा में उठाया और उनके खिलाफ कार्रवाई की मांग की. सदस्यों का कहना था कि पहले भी इस तरह के उदाहरण देखे गये हैं, जब इस तरह के स्टिंग के बाद समान आरोपों में 11 सदस्यों को संसद से बरखास्त कर दिया गया था.
स्टिंग ऑपरेशन में क्या?
समाचार पोर्टल नारद न्यूज ने स्टिंग ऑपरेशन में राज्य के तीन मंत्रियों, कुछ सांसदों और विधायकों ने कथित तौर पर एक नकली कंपनी ‘इंपेक्स कंसल्टेंसी’ के लिए लॉबिंग करने के लिए घूस लेते हुए दिखाया गया है. इसके बाद पश्चिम बंगाल की राजनीति में भूचाल आ गया है. कांग्रेस, माकपा और भाजपा इसको लेकर टीएमसी पर हमला बोल दिया है.
तृणमूल को धमकाया नहीं जा सकता
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने उत्तर बंगाल में चुनाव प्रचार के दौरान कहा कि तृणमूल कांग्रेस के खिलाफ रची जा रही साजिश के बावजूद पार्टी को धमकाया नहीं जा सकता और वह विधानसभा चुनाव जीतेंगी. वे कालाधन ला रहे हैं. हम नहीं डरते. मौका मिलने पर हम करारा जवाब देंगे. हम ईमानदारी से काम कर रहे हैं. उन्होंने आरोप लगाया कि माकपा, कांग्रेस और भाजपा तृणमूल कांग्रेस के खिलाफ एकजुट हो गये हैं और साजिश कर रहे हैं.