तिरवनंतपुरम : पश्चिम एशिया गए केरल के कासरगोड और पलक्कड जिले के कम से कम 15 युवक पिछले एक माह से लापता हैं. परिवार वालों को संदेह है कि ये लोग शायद आईएस में शामिल हो गए हैं. कासरगोड के सांसद पी करुणाकरण ने कहा कि मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने पुलिस को मामले की जल्द से जल्द जांच करने का आदेश दिया है. युवकों के परिवार वालों ने बताया कि उन्हें इन युवकों के बारे में पिछले एक माह से कोई जानकारी नहीं मिली है. लापता लोगों में एक दंपति शामिल है. परिवार वालों को संदेह है कि पश्चिम एशिया में धार्मिक अध्ययन के सिलसिले में गए इन युवकों को कट्टरपंथ ने अपनी गिरफ्त में ले लिया है.
कासरगोड जिला पंचायत के सदस्य वी पी पी मुस्तफा ने कहा कि ईद के दौरान लापता हुए दो युवकों के माता-पिता के पास ‘वॉट्स एप’ पर संदेश आए थे जिसमें लिखा था, ‘हम वापस नहीं आएंगे. यहां रुहानी माहौल है. आप भी यहां आ जाएं.’ उन्होंने बताया कि एक अन्य संदेश में लिखा था, ‘हम आईएस में शामिल हो गए हैं ताकि मुसलमानों पर हमला करने वाले अमेरिका से लड सके.’ संदेशों की सत्यता जांची जाएगी. करुणाकरण, त्रिकरिप्पुर के विधायक एम राजगोपालन और मुस्तफा ने परिवार वालों के उनसे संपर्क करने के बाद मुख्यमंत्री को इस मामले की जानकारी दी.
राजगोपालन ने कहा कि लापता हुए सभी युवकों की उम्र 30 से कम है और सभी उच्च शिक्षा प्राप्त हैं. करुणाकरण ने आज कहा, ‘मुख्यमंत्री ने पुलिस को मामले की जल्द से जल्द जांच करने के आदेश दिए हैं.’ उन्होंने बताया कि लापता युवकों के परिवार वालों ने कल उनसे मुलाकात कर उन्हें मामले की जानकारी दी थी. कासरगोड के लापता युवक हफीजुद्दीन के पिता हाकिम ने एक टीवी चैनल को बताया कि उनका बेटा एक माह पहले घर से गया था और तब से उसकी कोई जानकारी नहीं है.
उन्होंने कहा, ‘अगर वह एक अच्छे इंसान की तरह लौटता है, तो मैं उसका स्वागत करुंगा. अगर ऐसा नहीं होता तो मैं उसका शव भी नहीं देखना चाहूंगा.’ करुणाकरण ने कहा कि परिवार के सदस्यों ने उन्हें बताया कि सभी युवक एक माह पहले यह कहकर पश्चिम एशिया गए थे, कि वे वहां धार्मिक अध्ययन के लिए जा रहे हैं. उन्होंने बताया कि पिछले एक महीने से उनके परिवार वालों की उनसे कोई बातचीत नहीं हुई इसलिए वह शंका में हैं.
इन युवकों में से 11 केरल के उत्तर में स्थित कासरगोड जिले के त्रिकरिप्पुर एवं पदना के निवासी हैं और अन्य पलक्कड जिले के है. मुस्तफा ने कहा कि लापता लोगों में डॉ इजास और उनकी दंत चिकित्सक पत्नी भी शामिल है. दोनों घर से यह कहकर गए थे कि वे लक्षद्वीप जा रहे हैं. उन्होंने कहा कि इंजिनियरिंग में स्नातक अब्दुल राशिद अपनी पत्नी और एक बेटी के साथ यह कहकर घर से गया था कि वह नौकरी के लिए मुंबई जा रहा है. मुस्तफा ने कहा कि सभी युवक मध्यवर्गीय परिवार के थे और पिछले दो साल से धर्म संबंधी मामलों में काफी रुचि ले रहे थे.