केजरीवाल मंत्रिमंडल में जनलोकपाल पर फैसला नहीं

नयी दिल्ली : आज दिल्ली मंत्रिमंडल की बैठक में जनलोकपाल पर फैसला नहीं हो सका. आप नेता और दिल्‍ली सरकार में मंत्री मनीष सिसौदिया ने बताया कि ड्राफ्ट पूरी नहीं होने के कारण जनलोकपाल बिल पर आज फैसला नहीं हो सका. एक अधिकारी के अनुसार मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कल एक बैठक में इस विधेयक […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | January 28, 2014 1:20 AM

नयी दिल्ली : आज दिल्ली मंत्रिमंडल की बैठक में जनलोकपाल पर फैसला नहीं हो सका. आप नेता और दिल्‍ली सरकार में मंत्री मनीष सिसौदिया ने बताया कि ड्राफ्ट पूरी नहीं होने के कारण जनलोकपाल बिल पर आज फैसला नहीं हो सका.

एक अधिकारी के अनुसार मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कल एक बैठक में इस विधेयक पर लंबी चर्चा की जिसमें वकील और आप नेता प्रशांत भूषण, वकील राहुल मेहरा मंत्रिमंडलीय सहयोगियों एवं वरिष्ठ सरकारी अधिकारियों ने हिस्सा लिया.नेता प्रशांत भूषण, वकील राहुल मेहरा मंत्रिमंडलीय सहयोगियों एवं वरिष्ठ सरकारी अधिकारियों ने हिस्सा लिया.

अधिकारी ने कहा, ‘‘मंत्रिमंडल की सोमवार को बैठक हो सकती है और एजेंडा है जन लोकपाल विधेयक.’’सूत्रों के अनुसार कि सरकार रामलीला मैदान में दिल्ली विधानसभा के विशेष सत्र में इस भ्रष्टाचार निरोधक विधेयक को फरवरी के पहले सप्ताह में पारित कराने की अपनी समय सीमा पर खरा उतरने के लिए सभी कदम उठा रही है.

रामलीला मैदान में विधानसभा सत्र आयोजित करने पर कानून व्यवस्था का हवाला देकर दिल्ली पुलिस द्वारा ऐतराज जताने संबंधी एक सवाल के जवाब में अधिकारी ने कहा कि सरकार एक बार में एक कदम उठा रही है और मसौदा तैयार हो जाने एवं मंत्रिमंडल से मंजूरी मिल जाने के बाद वह इस मामले पर गौर करेगी.

अधिकारी के अनुसार यह भ्रष्टाचार निरोधक विधेयक काफी हद तक उत्तराखंड लोकायुक्त विधेयक पर आधारित है. हालांकि यह कुछ मायनों में भिन्न है. मुख्यमंत्री भी उसके दायरे में हैं.

विधेयक पर चर्चा करने के लिए हुई आज की बैठक की अध्यक्षता केजरीवाल ने की. यह करीब दो घंटे चली.अट्ठाइस दिसंबर को मुख्यमंत्री का पदभार संभालने के बाद केजरीवाल ने कहा था कि उनकी सरकार फरवरी के पहले सप्ताह में रामलीला मैदान में जन लोकपाल विधेयक पारित कराएगी जिसका आम आदमी पार्टी ने दिल्ली विधानसभा चुनाव के दौरान वादा किया था.

मुख्य सचिव की अगुवाई में एक समिति को जन लोकपाल विधेयक का मसौदा तैयार करने की जिम्मेदारी दी गयी थी. समिति में शहरी विकास, कानून, वित्त विभागों के सचिव और जाने माने वकील मेहरा भी हैं.

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