केजरीवाल सरकार ने विज्ञापनों पर जनता के धन का गलत इस्तेमाल किया : समिति
नयी दिल्ली: उच्चतम न्यायालय के निर्देश पर केंद्र सरकार की ओर से गठित एक समिति ने दिल्ली की आम आदमी पार्टी (आप) सरकार पर बरसते हुए आज कहा कि इसने उच्चतम न्यायालय के दिशानिर्देशों का उल्लंघन कर मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और उनकी पार्टी का प्रचार करने वाले सरकारी विज्ञापनों पर जनता के पैसे पानी की […]
By Prabhat Khabar Digital Desk |
September 17, 2016 10:41 AM
नयी दिल्ली: उच्चतम न्यायालय के निर्देश पर केंद्र सरकार की ओर से गठित एक समिति ने दिल्ली की आम आदमी पार्टी (आप) सरकार पर बरसते हुए आज कहा कि इसने उच्चतम न्यायालय के दिशानिर्देशों का उल्लंघन कर मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और उनकी पार्टी का प्रचार करने वाले सरकारी विज्ञापनों पर जनता के पैसे पानी की तरह बहाए. समिति ने सत्ताधारी ‘आप’ से कहा है कि वह विज्ञापनों पर हुए अनुचित खर्च की भरपाई करे. सरकारी विज्ञापनों में विषय-वस्तु के नियमन से जुडे मुद्दों को सुलझाने के लिए उच्चतम न्यायालय के निर्देश पर केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने पूर्व मुख्य चुनाव आयुक्त बी बी टंडन की अध्यक्षता में तीन सदस्यीय एक समिति गठित की थी. समिति को कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री अजय माकन की ओर से की गई एक शिकायत प्राप्त हुई थी जिसमें उन्होंने दिल्ली की केजरीवाल सरकार पर आरोप लगाया था कि वह विज्ञापनों पर जनता के पैसे पानी की तरह बहा रही है.
आज जारी अपने आदेश में समिति ने कहा, ‘‘समिति इस निष्कर्ष पर पहुंची है कि राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली की सरकार ने शिकायतकर्ता की ओर से बताए गए नौ में से छह क्षेत्रों में माननीय उच्चतम न्यायालय की ओर से जारी दिशानिर्देशों का उल्लंघन किया है.’ इन उल्लंघनों में ‘‘दिल्ली से बाहर विज्ञापन का प्रकाशन, गलत या गुमराह करने वाले विज्ञापन, अपने महिमामंडन के लिए विज्ञापन, राजनीतिक विरोधियों को निशाना बनाने के लिए विज्ञापन, मीडिया के खिलाफ विज्ञापन, सत्ताधारी पार्टी का नाम लेकर विज्ञापन और दूसरे राज्यों में हो रही घटनाओं पर विज्ञापन’ शामिल हैं.
जानेमाने विज्ञापन गुरु पीयूष पांडेय और वरिष्ठ पत्रकार रजत शर्मा इस समिति के सदस्य हैं. समिति ने कहा है कि उच्चतम न्यायालय के 13 मई 2015 के आदेश के उल्लंघन के मामले में ‘आप’ को विज्ञापनों पर हुए खर्च की भरपाई करनी होगी. समिति ने कहा कि दिल्ली सरकार की ओर से खर्च का आकलन किया जाना चाहिए. इस समिति ने राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली की सरकार को निर्देश दिया है कि वह विभिन्न वर्षगांठों के अवसर पर दिल्ली से बाहर दिए गए विज्ञापनों पर आए खर्च का आकलन करे. समिति ने दिल्ली सरकार को उन विज्ञापनों पर आए खर्च का आकलन करने का भी निर्देश दिया जिसमें आम आदमी पार्टी के नाम का जिक्र किया गया है, जिसमें दूसरे राज्यों में हुई घटनाओं पर मुख्यमंत्री केजरीवाल की राय का प्रचार किया गया है और जिसमें विपक्ष को निशाना बनाया गया है.