कांग्रेस ने रिजिजू पर लगाया हाइड्रो प्रोजेक्‍ट में घोटाले का आरोप, रिजिजू ने किया आपत्तिजनक शब्दों का प्रयोग

नयी दिल्‍ली : केंद्रीय गृह राज्य मंत्री किरण रिजिजू परकांग्रेस ने आज घोटाले का गंभीर आरोप लगाया है.यह आरोप अरुणाचल प्रदेश में एक बड़े हाइड्रो पावर प्रोजेक्ट के लिए बनने वाले 2 बांध में 450 करोड़ रुपये के घोटाले से संबंधित है. कांग्रेस प्रवक्‍ता रणदीप सुरजेवाला ने आरोप लगाया है कि हाइड्रो प्रोजक्‍ट में जो […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 13, 2016 3:10 PM
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नयी दिल्‍ली : केंद्रीय गृह राज्य मंत्री किरण रिजिजू परकांग्रेस ने आज घोटाले का गंभीर आरोप लगाया है.यह आरोप अरुणाचल प्रदेश में एक बड़े हाइड्रो पावर प्रोजेक्ट के लिए बनने वाले 2 बांध में 450 करोड़ रुपये के घोटाले से संबंधित है. कांग्रेस प्रवक्‍ता रणदीप सुरजेवाला ने आरोप लगाया है कि हाइड्रो प्रोजक्‍ट में जो घोटाला हुआ है उसके सबूत उनके पास हैं. कांग्रेस ने कहा है कि इसमें केंद्रीय गृह राज्य मंत्री किरण रिजिजू का नामसामने आने के बाद वे इस्तीफा दें.

कांग्रेस के प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि रिजिजू ने पद का दुरुपयोग किया है. सुरजेवाला ने कहा कि अरुणाचल हाइड्रो प्रोजेक्‍ट मामले पर किरण रिजिजू से इस्‍तीफा मांगा जाना चाहिए या उन्‍हेंपद सेकर देना चाहिए? सुरजेवाला ने कहा कि हाइड्रो प्रोजेक्‍ट मामले में हमारे पास रिजिजू के खिलाफ ऑडियो प्रूफ हैं. अरुणाचल केस में रिजिजू ने अपने पद का दुरुपयोग किया है. सत्ता में आने से पहले पीएम ने नारा दिया था न खाऊंगा न खाने दूंगा. आज ये हो गया है खाओ पियो.

गौरतलब है कि सार्वजनिक उपक्रम की कंपनियों के चीफ विजिलेंस अफसर सतीश वर्मा ने किरण रिजिजू, उनके चचेरे भाई और ठेकेदार गोबोई रिजिजू, नॉर्थ ईस्टर्न इलेक्ट्रिक पॉवर कॉरपोरेशन के मैनेजिंग डायरेक्टर और कॉरपोरेशन के कई अफसरों के खिलाफ 129 पन्नों की रिपोर्ट सीवीसी, सीबीआई और ऊर्जा मंत्रालय को भेजी है. हालांकि रिजिजू ने आरोपों से साफ इनकार किया है औरआपत्तिजनक शब्द का प्रयोग करते हुए कहा कि जो न्यूज प्लांट कर रहे हैं, हमारे यहां आएंगे तो जूते खाएंगे. क्या लोगों की सेवा करना भ्रष्टाचार है? रिजिजू का कहना है कि उन्होंने एक स्थानीय ठेकेदार की अर्जी पर ऊर्जा मंत्रालय को खत लिखा था. लेकिन उन्हें किसी घोटाले की जानकारी नहीं है. अगर कोई घोटाला हुआ है तो उसकी गहराई से जांच की जाए.

क्‍या है पूरा मामला

अंग्रेजी अखबार द इंडियन एक्‍सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक अरुणाचल प्रदेश के 600 मेगावाट क्षमता के कामेंग हाइड्रो इलेक्ट्रिक प्रोजेक्‍ट के तहत दो बांधों के निर्माण में कथित रूप से भ्रष्‍टाचार किया गया. ये अरुणाचल प्रदेश के सबसे बड़े प्रोजेक्‍टों में शुमार है. इसका निर्माण सार्वजनिक उद्यम नार्थ ईस्‍टर्न इलेक्ट्रिक पॉवर कॉरपोरेशन (एनईईपीसीओ) द्वारा किया जा रहा है.किरणरिजीजू के कजिन गोबोई रिजीजू भी इस प्रोजेक्‍ट में कांट्रैक्‍टर हैं.

इस कंपनी के मुख्‍य सतर्कता अधिकारी (सीवीओ) सतीश वर्मा ने अपनी 129 पेज की रिपोर्ट में गोबोई रिजीजू, कंपनी के चेयरमैन, मैनेजिंग डाइरेक्‍टर समेत कई शीर्ष अधिकारियों की भूमिका पर सवाल खड़े किये. यह प्रोजेक्‍ट अरुणाचल के वेस्‍ट कामेंग जिले में पड़ता है. इसी संसदीय सीट से किरन रिजीजू सांसद हैं.

सीवीओ ने इस साल जुलाई में अपनी रिपोर्ट सीबीआई, सीवीसी और ऊर्जा मंत्रालय को भेजी थी. उसमें कहा गया था कि कांट्रैक्‍टर, एनईईपीसीओ अधिकारियों और वेस्‍ट कामेंग जिला प्रशासन की मिली-भगत से भ्रष्‍टाचार किया गया. इसमें एनईईपीसीओ और सरकारी फंड के तकरीबन 450 करोड़ रुपये तक के फ्रॉड की बात कही गयी.

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