बच्चों का शारीरिक शोषण एवं तस्करी रोकने के लिए कानून लागू
नयी दिल्ली : सरकार ने आज बताया कि बच्चों के शारीरिक शोषण और मानव तस्करी को रोकने का समग्र प्रावधान करने वाला दंड विधि (संशोधन) कानून फरवरी 2013 से लागू हो चुका है. लोकसभा में संयज धोत्रे और बदरुद्दीन अजमल के प्रश्न के लिखित उत्तर में गृह राज्य मंत्री आर पी एन सिंह ने कहा […]
नयी दिल्ली : सरकार ने आज बताया कि बच्चों के शारीरिक शोषण और मानव तस्करी को रोकने का समग्र प्रावधान करने वाला दंड विधि (संशोधन) कानून फरवरी 2013 से लागू हो चुका है. लोकसभा में संयज धोत्रे और बदरुद्दीन अजमल के प्रश्न के लिखित उत्तर में गृह राज्य मंत्री आर पी एन सिंह ने कहा कि इस अधिनियम में भारतीय दंड संहिता की धारा 370 के स्थान पर धारा 370 और 370 क लायी गयी है.
इस कानून में किसी भी रुप में बच्चों के शारीरिक शोषण, यौन शोषण, गुलामी, दासता, जबरन अंग निकालने तथा बच्चों की मानव तस्करी आदि के खतरों से मुकाबला करने के लिए समग्र प्रावधान है. मंत्री ने कहा कि इसके अलावा बच्चों के विरुद्ध अपराध के लिए अनेक विशिष्ठ कानून हैं. इनमें बाल श्रम :निषेध एवं नियंत्रण: अधिनियम 1986, बाल विवाह निषेध अधिनियम 2006, र्दुव्यापार (निवारण) अधिनियम 1956 आदि शामिल हैं.