लखनऊ मुठभेड़ से जुड़े मामले की जांच एनआईए करेगी : राजनाथ सिंह
नयी दिल्ली : केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने आज कहा कि मध्यप्रदेश में ट्रेन में बम विस्फोट मामले के सिलसिले में लखनऊ मुठभेड़ में एक संदिग्ध आतंकी के मारे जाने की घटना की जांच राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) करेगी. लोकसभा में इस विषय पर अपने वक्तव्य में राजनाथ सिंह ने मृत आतंकी सैफुल्ला के […]
नयी दिल्ली : केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने आज कहा कि मध्यप्रदेश में ट्रेन में बम विस्फोट मामले के सिलसिले में लखनऊ मुठभेड़ में एक संदिग्ध आतंकी के मारे जाने की घटना की जांच राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) करेगी. लोकसभा में इस विषय पर अपने वक्तव्य में राजनाथ सिंह ने मृत आतंकी सैफुल्ला के पिता मोहम्मद सरताज द्वारा उसका शव लेने से इंकार करते हुए उस कथन प्रशंसा की जिसमें उन्होंने कहा था कि जो अपने देश का नहीं हुआ, वह हमारा कैसे होगा.
गृह मंत्री ने कहा, ‘‘ मोहम्मद सरताज पर सरकार और पूरे सदन को नाज है. ” सदस्यों ने मेज थपथपा का इसका स्वागत किया. उल्लेखनीय है कि सैफुल्ला मंगलवार को मध्यप्रदेश के शाजापुर जिले में भोपाल..उज्जैन ट्रेन में हुए विस्फोट मामले में संदिग्ध था. गृह मंत्री ने कहा कि यह घटनाक्रम राज्य पुलिस और केंद्रीय एजेंसियों के बीच समन्वय का उत्तम उदाहरण है. दोनों राज्यों की पुलिस द्वारा त्वरित कार्रवाई करते हुए देश की सुरक्षा पर उत्पन्न संभावित खतरे को टालने में सफलता प्राप्त की गई. उन्होंने कहा, ‘‘ इस पूरे प्रकरण की जांच एनआईए से करायी जायेगी.”
राजनाथ सिंह ने इस मामले में मध्यप्रदेश और उत्तर प्रदेश में दोनों राज्यों में दर्ज मामलों का भी जिक्र किया. उन्होंने बताया कि भोपाल..उज्जैन ट्रेन में हुए विस्फोट में 10 रेलयात्रियों को चोटें आई और रेलवे सम्पत्ति को भी नुकसान पहुंचा. घायलों को तत्काल अस्पताल पहुंचाया गया. वर्तमान में सभी घायलों की स्थिति खतरे से बाहर है.
गृह मंत्री ने बताया कि संदिग्धों से की गई पूछताछ तथा अन्य उपलब्ध सूचनाओं के आधार पर उत्तर प्रदेश पुलिस द्वारा लखनऊ, इटावा, कानपुर और औरैया में विभिन्न स्थानों पर कार्रवाई की गई. उन्होंने बताया कि लखनऊ के काकोरी थानार्न्तगत हाजी कालोनी स्थित एक मकान में कानपुर निवासी मोहम्मद सैफुल्ला उर्फ अली के किराये पर रहने की सूचना प्राप्त हुई. एटीएस उत्तरप्रदेश द्वारा उक्त मकान की घेराबंदी की गई और संदिग्ध सैफुल्ला को गिरफ्तार करने के भरसक प्रयास किये गए. लेकिन उसने आत्मसमर्पण करने से इंकार किया और एटीएस पर गोलीबारी की.
राजनाथ ने बताया कि अंतत: लगभग 12 घंटे के अथक प्रयास के पश्चात एटीएस टीम ने सैफुल्ला के कमरे में प्रवेश किया तथा आमने सामने की मुठभेड़ में इस संदिग्ध आतंकी को मार गिराया. उन्होंने बताया कि मृतक के कमरे से आठ पिस्तौल, 630 कारतूस और अन्य सामग्री जिसमें 1.5 लाख रुपये, लगभग 45 ग्राम सोना, तीन मोबाइल फोन, चार सिमकार्ड, दो वाकीटॉकी सेट और कुछ विदेशी मुद्रा आदि बरामद की गई. राजनाथ ने बताया कि एटीएस उत्तरप्रदेश द्वारा दो अन्य अभियुक्तों को संदिग्ध आतंकवादियों को हथियारों की आपूर्ति करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है. इस प्रकार से अब तक कुल छह गिरफ्तारियां इस पूरे घटनाक्रम में हुई है.
मध्यप्रदेश ट्रेन विस्फोट का जिक्र करते हुए राजनाथ सिंह ने कहा कि घटनास्थल के प्रारंभिक निरीक्षण से संकेत मिला है कि अपराधियों द्वारा विस्फोट के लिए स्थानीय स्तर पर उपलब्ध पदार्थो से तैयार आईईडी का उपयोग किया गया था. गृह मंत्री ने कहा कि प्रकरण का अन्वेषण केंद्रीय एजेंसियों के समन्वय से किया जा रहा है तथा अभियुक्तों के सम्पर्क सूत्रों के संबंध में जानकारी एकत्रित की जा रही है.