राजनेताओं की गलतियों को मुखरता से उजागर करें अफसर : राजनाथ

नयी दिल्ली : गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने सिविल सेवा के अधिकारियों को प्रमुख पदों पर आसीन राजनेताओं की ‘‘हां में हां न मिलाने” की हिदायत देते हुए उनकी गलतियों के खिलाफ मुखरता से कार्रवाई करने का आह्वान किया है. उन्होंने गुरुवार को 11वें लोकसेवा दिवस पर आयोजित समारोह में देश भर से जुटे लोकसेवकों […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 20, 2017 2:51 PM
नयी दिल्ली : गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने सिविल सेवा के अधिकारियों को प्रमुख पदों पर आसीन राजनेताओं की ‘‘हां में हां न मिलाने” की हिदायत देते हुए उनकी गलतियों के खिलाफ मुखरता से कार्रवाई करने का आह्वान किया है.
उन्होंने गुरुवार को 11वें लोकसेवा दिवस पर आयोजित समारोह में देश भर से जुटे लोकसेवकों से देश और जनता के हित में किसी भी तरह के दबाव में आये बिना अपना काम जारी रखने को कहा. साथ ही कहा कि अगर प्रमुख पदों पर आसीन सियासी जमात के लोग कोई गलत आदेश दें, तो लोक सेवक बेहिचक उन्हें कानून दिखा कर बतायें कि गलत आदेश देकर वे कानून का उल्लंघन कर रहे हैं.
इतना ही नहीं सिंह ने अधिकारियों से ऐसे किसी फैसले से जुडी फाइल पर दस्तखत भी नहीं करने को कहा. उनका इशारा साफ तौर पर केंद्र शासित राज्यों (दिल्ली और गोवा) में राज्य सरकार और नौकरशाहों के बीच हाल ही में अधिकारक्षेत्र को लेकर उपजे विवाद की ओर था. दिल्ली सरकार में अधिकारक्षेत्र का विवाद अदालत तक जा पहुंचा है.
गृह मंत्री ने अधिकारियों से दो टूक कहा कि वे अहम पदों पर बैठे राजनेताओं की हां में हां मिलाते हुए आंख मूंद कर उनके आदेशों का पालन न करें. उन्होंने कहा कि सरकार ‘गुड गवर्नेंस’ के लक्ष्य को ‘स्मार्ट गवर्नेंस’ तक ले जाने के लिए प्रतिबद्ध है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की इस प्रतिबद्धता को तकनीक और लोकसेवकों की मदद से ही पूरा किया जा सकता है.
उन्होंने कहा कि देश और जनता के हित में लोकसेवक अपनी अंतरात्मा की आवाज को दबा कर काम न करें. सिंह ने कहा कि जरूरत पड़ने पर अधिकारी भ्रम की स्थिति में अपने वरिष्ठ अधिकारियों से विचार विमर्श करें, लेकिन किसी भी हाल में निर्णय लेने की क्षमता से समझौता न करें.

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