शहीद जवानों के गुप्तांग काटने की खबर से नक्सलियों का इनकार
रायपुर : छत्तीसगढ़ के सुकमा में नक्सली हमले में सीआरपीएफ के 26 जवान शहीद हो गये थे. खबर आयी थी कि जवानों के गुप्तांग भी काट लिये गये. नक्सलियों ने इस खबर का खंडन करते हुए कहा, यह कॉरपरेट मीडिया का दुष्प्रचार है. हम किसी के भी शरीर के साथ कोई दुर्व्यवहार नहीं करते हैं. […]
रायपुर : छत्तीसगढ़ के सुकमा में नक्सली हमले में सीआरपीएफ के 26 जवान शहीद हो गये थे. खबर आयी थी कि जवानों के गुप्तांग भी काट लिये गये. नक्सलियों ने इस खबर का खंडन करते हुए कहा, यह कॉरपरेट मीडिया का दुष्प्रचार है. हम किसी के भी शरीर के साथ कोई दुर्व्यवहार नहीं करते हैं. यह झूठा प्रचार किया जा रहा है.
दण्डकारण्य स्पेशल जोनल कमेटी ( भारतीय कम्यूनिस्ट पार्टी, माओवादी) के प्रवक्ता ने इस संबंध में 18 मिनट से ज्यादा लंबा एक ऑडियो जारी किया है. नक्सलियों ने इस हमले की जिम्मेदारी लेते हुए कहा है कि हम हिंसावादी नहीं हैं. अपने लोगों की रक्षा और कॉरपरेट घरानों द्वारा खनिज संपदाआें की लूट को रोकने के लिए इस तरह की घटनाआें को अंजाम दिया जाता है. प्रवक्ता ने दुर्व्यवहार की खबर से इनकार करते हुए उल्टा आरोप लगाया कि उनके साथी जो शहीद होते हैं उनके साथ दुर्व्यवहार किया जाता है. उनके शव को परिवार वालों को सौंपने में देरी होती है तबतक शरीर सड़ जाता है. शहीद महिला कॉमरेड की गंदी तसवीरें निकाली जाती हैं और उसे वायरल किया जाता है.
सुकमा की घटना उन हमलों का जवाब है जिसमें उनके कई साथी मारे गये. ऑडियो में आम जनता को भी धन्यवाद दिया गया है. ऑडियो में प्रवक्ता ने कहा, इस हमले को अंजाम देने वाले कॉमरेड, कमांडर और आम जनता जिनके कारण यह संभव हो सका, उन्हें लाल सलाम. उन्होंने कहा, आम जनता को सुविधा पहुंचाने के नाम पर जंगल में लूट और आदिवासियों को वहां से भगाने की साजिश रची जा रही है. ध्यान रहे, सुकमा में शहीद हुए सीआरपीएफ के जवानों के गुप्तांग काटने की खबर मीडिया में खूब चली थी. खबर थी कि जवानों को मारने के बाद नक्सलियों ने छह जवानों के गुप्तांग काटे थे.