तिरुवनंतपुरम : झकझोर कर रख देनेवाली एक घटना में कन्नूर में नीट परीक्षा देने पहुंची एक लड़की से एक निरीक्षक ने सीबीएसई के ड्रेस कोड के नाम पर अंत:वस्त्र उतारने को कहा. मामला राज्य विधानसभा में भी गूंजा. शिक्षा मंत्री सी रवींद्रनाथ ने कहा कि सरकार मामले को देखेगी. हालांकि, राज्य शिक्षा विभाग के सूत्रों ने कहा कि नीट परीक्षा आयोजित करने में राज्य की कोई भूमिका नहीं है. इस बारे में सभी दिशा-निर्देश सीबीएसई की ओर से ही दिये गये थे. वहीं, केरल के महिला आयोग ने घटना की जांच के आदेश दिये हैं.
कन्नूर के पेरियारम में एक केंद्र पर रविवारको परीक्षा देने पहुंची 19 वर्षीय इस लड़की की मां ने दावा किया कि उसकी बेटी से लिखित परीक्षा से पहले अंत:वस्त्र उतारने को कहा गया. लडकी की मां ने कहा, ‘‘मेरी बेटी परीक्षा केंद्र में प्रवेश कर गयी थी, लेकिन वह बाहर आ गयी और मुझे अपनी ब्रा सौंप दी. उसने कहा कि सीबीएसई के ड्रेस कोड के अनुसार उसे यह अंत:वस्त्र उतारने को कहा गया है.’ उसने आरोप लगाया कि निरीक्षक ने उसकी बेटी को ऐसा करने को तब कहा, जब मेटल डिटेक्टर में ‘बीप की आवाज’ आयी.
अंत:वस्त्र में धातु का एक हुक था, जिसकी वजह से मेटल डिटेक्टर में बीप की आवाज आयी. कन्नूर के जिला पुलिस प्रमुख जी शिवा विक्रम ने कहा कि यदि माता-पिता या लड़की की ओर से शिकायत दर्ज करायी जाती है, तो मामला दर्ज किया जायेगा. उन्होंने कहा, ‘‘हमें अब तक कोई शिकायत नहीं मिली है. विशेष प्रकोष्ठ से मामले को देखने को कहा गया है.’
राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा या नीट-यूजी उन छात्रों के लिए प्रवेश परीक्षा है, जो देश में किसी स्नातक चिकित्सा पाठ्यक्रम की पढ़ाई करना चाहते हैं. राज्य के अन्य कई केंद्रों से भी खबरें हैं कि लड़कियों से सिर से स्कार्फ उतारने तथा छात्र-छात्राओं से पूरी बांहों के कपड़ों को काटने को कहा गया.
राजनीतिक पार्टियों ने की घटना की निंदा : कांग्रेस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष वीएम सुधीरन ने घटना की निंदा की और कहा कि यह क्रूरता है तथा राज्य पर एक कलंक है. उन्होंने मांग की कि सरकार इसकी जांच कराये और दोषियों को दंडित करे. माकपा सांसद पीके श्रीमती ने भी घटना की निंदा की और कहा कि यदि लड़की असफल होती है, तो अधिकारी जिम्मेदार होंगे, क्योंकि उसे ‘‘मानसिक रूप से प्रताड़ित किया गया.’