नक्सल प्रभावित राज्यों में नहीं होगी सेना की तैनाती

तंजावुर (तमलिनाडु) : नक्सल विरोधी अभियानों के लिए सेना तैनात किए जाने की संभावना से इनकार करते हुए रक्षा मंत्री एके एंटनी ने आज कहा कि वास्तविक उत्तर स्थानीय और केंद्रीय पुलिस बलों को मजबूत किए जाने में निहित है. उन्होंने कहा कि सेनाएं जमीन पर पुलिसकर्मियों को पूरा सहयोग मुहैया करा रही हैं और […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 16, 2013 1:42 PM

तंजावुर (तमलिनाडु) : नक्सल विरोधी अभियानों के लिए सेना तैनात किए जाने की संभावना से इनकार करते हुए रक्षा मंत्री एके एंटनी ने आज कहा कि वास्तविक उत्तर स्थानीय और केंद्रीय पुलिस बलों को मजबूत किए जाने में निहित है.

उन्होंने कहा कि सेनाएं जमीन पर पुलिसकर्मियों को पूरा सहयोग मुहैया करा रही हैं और वायु सेना नक्सल प्रभावित इलाकों में रात में भी अपने हेलीकॉप्टरों का संचालन कर रही है.

यह पूछे जाने पर कि क्या शनिवार को छत्तीसगढ़ में हुए हमले की तीव्रता को देखते हुए नक्सल विरोधी अभियानों में सेना तैनात करने के लिए यह उचित समय है, एंटनी ने कहा, इस तरह का कोई प्रस्ताव नहीं है. हम सीधे तौर पर शामिल हुए बिना अपनी सहायता देते हैं. वास्तविक उत्तर स्थानीय पुलिस और अर्द्धसैनिक बलों को मजबूत किए जाने में निहित है. रक्षा मंत्रालय नक्सल विरोधी अभियानों में सेना और वायुसेना की तैनाती के विरोध में रहा है.

एंटनी ने कहा कि सेनाएं पूरी सहायता मुहैया करा रही हैं. वास्तव में परसों, इस हादसे के होने से पहले, वायुसेना के हेलीकॉप्टर रात के समय उड़ रहे थे. हम हमेशा मदद करते रहे हैं. नक्सल हमले पर मंत्री ने कहा, भारत एक लोकतंत्र है, यहां प्रक्रिया है, यहां संस्थान हैं और यहां हर तबके के लिए अपनी शिकायतें व्यक्त करने के तरीके और अवसर हैं. लेकिन इस तरह की हिंसा स्वीकार्य नहीं है.

भारी हथियारों से लैस माओवादियों ने शनिवार को छत्तीसगढ़ के बक्सर जिले में कांग्रेस नेताओं के काफिले पर हमला किया था जिसमें कांग्रेस नेता महेंद्र कर्मा, पूर्व विधायक उदय मुदलियार, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष नंद कुमार पटेल और उनके पुत्र सहित 27 लोग मारे गए थे. हमले में वरिष्ठ कांग्रेस नेता विद्याचरण शुक्ल सहित 32 लोग घायल हो गए थे.

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